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रविवार, 20 नवंबर 2022

आँखों के सामने तैरती वो चीज़े क्या होती हैं?

आपने कभी दिन के उजाले में अपनी आंखों के सामने कुछ तैरती हुईं सी पारदर्शी तंतु नुमा चीज़े देखी हैं? ये क्या है और कैसे बनती हैं?

स्त्रोत: Florida Eye Specialists

खुले खास कर के नीले आसमान की तरफ देखते वक्त कुछ अजीबोगरीब चीज़े आंखों के सामने तैरती दिखाई देती हैं। कुछ गोलाकार तो कुछ छोटी छोटी लकड़ी के जैसी या फिर किसी कीड़े की तरह। लेकिन जब आप जिज्ञासा वश इस “कीड़े” की तरफ फोकस करते हो, तो वह अपनी जगह से भाग जाती हैं।आपकी पलक झपकने पर भी वे गायब हो जाती हैं। लेकिन उन पर आप कंसन्ट्रेट नहीं कर पाते हैं।

जो हर वक्त आपकी आंखों के सामने नाचती रहती उसे कहते है, Eye Floater (फ्लोटर)। हकीकत में वो तैरते हुए तंतु ना ही आसमान में है और ना ही आपके आँखों के आगे। ये चीजेंं वास्तव में आपकी आँख के अंदर मौजूद होती हैं। ये भले ही आपको कोई जिंदा चीज या आकर बदलने वाला कोई कीड़ा लगे जो आपसे आँख मिचौली खेल रहा हो, लेकिन वास्तव में ऐसा बिल्कुल नहीं है।

फ्लोटर वो चीज़े हैं जो आपकी आँख की रेटिना* छाया डालते हैं. वे ऊतक

के टुकड़े, लाल रक्त कोशिकाएंं या प्रोटीन के समूह भी हो सकते है।यह फ्लोटर्स आपकी आँखों के हलन चलन के साथ-साथ एक तरल जेल या चिपचिपे प्रवाही की तरह बहते हैं और छोटे छोटे उछाल करने लगते हैं। इनकी परछाई आपके रेटिना पर पड़ती हैं। यह जितने आपके रेटिना के नजदीक होते हैं उतने ही यह आपके लिए अधिक दृष्टिगोचर होते हैं।

*यहां रेटिना को लाल अक्षरों में दिखाया गया है।

(स्त्रोत:Floaters, Retinal Tears, and Retinal Detachments

)

जब आप किसी लगातार आते हुए उज्ज्वल प्रकाश की तरफ देखते हैं तब यह फ्लोटर अच्छी तरह देखने लायक होते हैं। अक्सर हमारा ध्यान ज्यादातर इन पर नहीं जाता हैं, क्योंकि ज्यादातर हमारा दिमाग इन्हें अनदेखा ही करता हैं।

फुटनोट;

8 frequently asked questions about eye floaters - Vision Eye Institute

Eye Floaters: Causes, Symptoms, and Treatment | Florida Eye Specialists

 किसी मोबाइल फोन की लोकेशन कैसे ट्रैक करे?

यदि किसी का मोबाइल खो जाता है तो साँसे जैसे बंद होने लगती है । इसलिए मै आपको बताऊँगा कि आप इस स्थिति मे अपने मोबाइल को कैसे खोज सकते है

लोकेशन ट्रेस करने के लिए मै आपको दो प्रकार बताऊँगा -

पहला तरीका - लगभग सभी मोबाइल कम्पनियाँ , अपने स्मार्टफोन मे ट्रेकर लगाने की सुविधा देती है । ये आप ऐप्प के माध्यम से कर सकते है । जैसे सैमसंग के मोबाइल मे आपको Find My Device नाम का ऐप मिलेगा , यदि नही है तो आप डाउनलोड कर सकते है । ये ऐप आपको कई सुविधाएँ देता है ।

जैसे कि- फोटो मे देख सकते है ।

  1. इस ऐप के माध्यम से अपने मोबाइल को लॉक कर सकते है । और यदि पासवर्ड भूल जाते है तो इस ऐप से आप अनलॉक भी कर सकते है ।
  2. आप इससे अपने डाटा का बैकअप ले सकते है ।
  3. अपने मोबाइल को रिसेट कर सकते है , पावर बचत मोड पर डाल सकते है ।
  4. एक मिनट मे अपने मोबाइल को पूरी वॉल्यूम पर रिंग कर सकते है ।
  5. सबसे बड़ी बात आप इससे अपने मोबाइल की लोकेशन देख सकते है । लेकिन सबसे जरूरी बात आपका मोबाइल इंटरनेट से कंनेक्ट होना चाहिए ।

दूसरा तरीका - इस तरीके से शायद आप परिचित होगें । ये गूगल द्वारा दी जाने वाली सुविधा है इस ऐप का नाम है Find My Device from google। इससे आप स्थान की सटीक जानकारी ले सकते है । इसे आप प्ले स्टोर से डाउनलोड कर सकते है । इसका उपयोग करने के लिए आपको ये ऐप इंस्टाल करके अपने गूगल खाते से साइन इन करना होगा , और जिस जिस डिवाइस मे आपका खाता जुड़ा होगा उसकी जानकारी आपको मिल जायेगी ।

ये ऐप कुछ निम्न सुविधा देता है -

  1. इससे आपके मोबाइल की सटीक जानकारी मिलती है ।
  2. आपके मोबाइल की बैटरी प्रतिशत बता सकता है ।
  3. अपने मोबाइल पर लॉक सेट कर सकते है, और फैक्टरी डाटा रिसेट भी कर सकते है ।
  4. अपने मोबाइल को रिंग कर सकते है ।

सबसे जरूरी बात इन दोनों के इस्तेमाल के लिए आपका डेटा और लोकेशन ऑन होना चाहिए । ध्यान रखिए आपके मोबाइल की सुरक्षा आपके हाथ मे होती है । इसलिए यदि बाहर जाये तो अपने मोबाइल के डाटा को ऑन करके रखे । मोबाइल मे एक कठिन सा पासवर्ड अवश्य रखे , यदि पासवर्ड नही है तो ये दोनो ऐप भी आपका मोबाइल नही बचा सकते है , क्योकी बिना पासवर्ड के मोबाइल को आसानी से लॉक किया जा सकता है और सब कुछ कर सकते है जो आप कर सकते है ।

आशा करता हूँ कि आप अपने मोबाइल को ट्रेस कर पायेगे और गलती से खो जाने पर आपको ये उत्तर जरूर याद आए ।

लुटियन बंगलों से 1,500 स्क्वाटर्स को बाहर निकालने के साथ, यह समझा सकता है कि यह हमेशा मोदी बनाम सभी क्यों है

 तथ्यों को जानने के लिए इसे अंत तक पढ़ें
 मेरे प्यारे भारतीयों को नमस्कार।

   * मैं भारत का प्रधान मंत्री हूं, नरेंद्र मोदी!*

  आपको यह जिम्मेदारी दिए 7 साल हो चुके हैं!  मैं इस अवसर पर कुछ बातें साझा करना चाहूंगा!  जब मैंने प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली, तो सिंहासन कांटेदार था!

  * सभी सरकारी संस्थान पिछली सरकार के 10 वर्षों के कुशासन, भ्रष्टाचार और धोखाधड़ी से बिखरे हुए थे!  भारी विदेशी कर्ज बना रहा, और भारतीय कंपनियां नुकसान कर रही थीं!*

   * ईरान का ऋण 48,000 करोड़ रुपये था;*

   * संयुक्त अरब अमीरात का 40,000 करोड़ रुपये का ऋण खाता;*

   * भारतीय ईंधन कंपनियों को 1,33,000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ;*

   * इंडियन एयरलाइंस का नुकसान 58,000 करोड़ रुपये था;*

   * भारतीय रेल का नुकसान 22,000 करोड़ रुपये था;*

   * बीएसएनएल का नुकसान 1,500 करोड़ रुपये था;*

  * सैनिकों के पास बुनियादी हथियार नहीं थे, उनके पास बुलेट प्रूफ जैकेट नहीं थे!  कोई अत्याधुनिक लड़ाकू विमान नहीं थे!  अगर युद्ध होता, तो सेना 4 दिनों तक भी नहीं बच पाती । *

  जब मैंने फैसला किया!

  उस समय मेरी मुख्य जिम्मेदारी सभी प्रणालियों को ठीक से स्थापित करना था!

  * सौभाग्य से, भारतीयों के लिए, अंतरराष्ट्रीय बाजार में ईंधन की कीमतों में कमी आई है!  लेकिन आप सभी कम कीमतों से लाभान्वित नहीं हुए हैं!  आप महसूस कर रहे होंगे कि सरकार ने गलत किया है!*

  आप मुझे बहुत प्यार करते हैं, लेकिन आप ईंधन की लागत के लिए मुझसे थोड़ा नाराज हैं!  मुझे पता है, लेकिन मैं आपकी मदद नहीं कर सका, क्योंकि मैं अपनी आने वाली पीढ़ियों के साथ काम कर रहा हूं!

  * पिछली सरकार की मूर्खता हमारे लिए अभिशाप थी*

  * उन्होंने उधार लिया और कच्चा तेल खरीदा!  हालांकि, उन्होंने नागरिकों की आक्रामकता से बचने के लिए कीमत में वृद्धि नहीं की!*

  तब उसने 2,50,000 करोड़ रुपये का विदेशी ऋण लिया था!  इसके लिए हमें हर साल ब्याज के रूप में 25,000 करोड़ रुपये देने पड़ते थे!

  * हमारे देश को भारी मात्रा में ऋण दिया गया था!  और हमें अपने कर्ज चुकाने के लिए कहा गया था, ताकि भारत को बिना किसी हिचकी के ईंधन मिल सके!*

  * ईंधन पर कर लगाने का कारण क्या है?  हम गर्व से कह सकते हैं कि आज हमने ब्याज के साथ 2,50,000 करोड़ रुपये का ऋण चुकाया है!*

  * रेलवे नुकसान कर रहा था!  हमने पिछली सरकारों द्वारा शुरू किए गए सभी प्रोजेक्ट पूरे कर लिए हैं, जो सुचारू रूप से चल रहे हैं!  हमने रेलवे लाइनों के सभी विद्युतीकरण को पहले की तुलना में तेज गति से पूरा किया!*

  साथ ही । .

  * 18,500 गांवों का विद्युतीकरण!*

  * गरीबों को 5 करोड़ मुफ्त गैस कनेक्शन दिए गए हैं!*
 * सैकड़ों किलोमीटर नई सड़कें बनाई गईं!*

  * युवाओं को 1,50,000 करोड़ रुपये के ऋण दिए गए!*

  * 1,50,000 करोड़ की एक चिकित्सा बीमा योजना "आयुष्मान भारत"नाम के 50 करोड़ नागरिकों के लिए शुरू की गई!*

  * हमारे सैनिकों को सभी नवीनतम और अद्यतन संस्करण हथियार और बुलेट प्रूफ जैकेट, राफेल लड़ाकू विमान, और कई अन्य प्रकार के घातक हथियार और अन्य सुविधाएं प्रदान की जाती हैं!*

* इन सभी कार्यों के लिए पैसा कहां से आया?  वह पैसा आपके द्वारा दिया गया है!  जब आप सभी पेट्रोल-डीजल खरीदते हैं, तो आप उस पैसे को देश को देते हैं*

  * यदि हम पेट्रोल और डीजल पर कर हटाते हैं, तो क्या हमारे ऋणों का भुगतान करना संभव था?  हम कर्ज चुका सकते हैं, साथ ही कई नई परियोजनाएं भी ला सकते हैं, इसलिए अप्रत्यक्ष रूप से हमें हर चीज पर कर बढ़ाने की जरूरत है!  130 करोड़ नागरिकों की जिम्मेदारी अकेले वाहन मालिकों की नहीं हो सकती!*

  एक आखिरी बात।. अपने परिवार के मुखिया के रूप में, जब आपके परिवार पर भारी कर्ज का बोझ होता है तो आप क्या करते हैं?

   क्या आप लापरवाही से खर्च करते हैं?

   * या आप ऋण का भुगतान करते हैं?*

  * यदि ऋण और ब्याज को लापरवाही से नहीं चुकाया जाता है, तो परिवार का भविष्य क्या होगा?*

  * विरोधियों के गलत खेल में मत पड़ो । ..*

  *आप, इस देश के देशभक्त नागरिक के रूप में, कृपया देश के विकास में भाग लें । *

  * यह विरोध हमेशा चुनावी रहा है, कुछ राजनेता झूठे प्रचार के साथ नागरिकों को गुमराह करने की कोशिश कर रहे हैं!*

  * मैं आप सभी से अनुरोध करता हूं, कृपया इस सच्चाई को आप सभी भारतीयों के साथ साझा करें*

   आपका,
   * नरेंद्र मोदी*
 * लंबे समय तक जीवित रहने वाली भारत माता*
 * जय हिंद!*
 🙏

 * लुटियन बंगलों से 1,500 स्क्वाटर्स को बाहर निकालने के साथ, यह समझा सकता है कि यह हमेशा मोदी बनाम सभी क्यों है!*

 https://www.opindia.com/2018/02/with-1500-squatters-kicked-out-from-lutyens-bungalows-it-might-explain-why-its-always-modi-vs-all/

 * सफाई वास्तव में लुटियंस दिल्ली में हुई है, जब से भाजपा सत्ता में आई है, 7 साल पहले!*

 * पहले साल में ही, 460 से अधिक स्क्वाटर्स को उनके आरामदायक लुटियन बंगलों से पैकिंग के लिए भेजा गया था!*

 * उनमें से कई पीढ़ियों से वहां रह रहे थे, और इसे अपनी निजी संपत्ति मानना शुरू कर दिया था ।  कुछ ने अपील के साथ अदालतों से संपर्क किया कि वे अपनी जागीर बनाए रखें । लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ!  अदालतों ने भी मना कर दिया!*

 * पूर्व प्रधान मंत्री चरण सिंह के बेटे अजीत सिंह एक बंगले पर बैठ रहे थे ।   वह बाहर बंद कर दिया गया था, और उसके सामान लॉन पर बाहर फेंक दिया!*

 * अभिनेता नंदिता दास के पिता पेंटर जतिन दास लुटियन में एक और बंगले का आनंद ले रहे थे ।   बेदखल होना पड़ा!*

 * "द प्रिंट", एक कांग्रेस आईटी सेल प्रकाशन, ने पूछा कि नरेंद्र मोदी के पास नेहरू और गांधी के विपरीत, उनका बचाव करने वाले बुद्धिजीवियों की सेना क्यों नहीं है?*

 * शब्द "बुद्धिजीवी" एक मजाक है!  अधिकांश समाज के सबसे कम नैतिक मैल हैं, जो नकद या तरह के उपहार के लिए कुछ भी बेचने को तैयार हैं!*

 * 2016 के अंत तक, बेदखली की संख्या बढ़कर 1,500 हो गई थी!*

 * लुटियंस दिल्ली में इस सफाई मिशन का दस्तावेजीकरण करने वाले मीडिया में केवल कुछ ही लेख हैं!*

 * कांग्रेस के उपहारों से प्यार करने वाले बहुत सारे मुफ्त लोडिंग पत्रकारों को भी बाहर निकाल दिया गया!*

 * एक अनाम कांग्रेस सांसद से "द टेलीग्राफ" में एक उद्धरण का यह पूर्ण रत्न है:*

 "कांग्रेस के पास नियमों को इतनी दृढ़ता से लागू नहीं करने की एक लंबी परंपरा थी! "

 * अद्भुत सुझाव:*

 * ऐसा लगता है कि लुटियन दिल्ली उन लोगों का एक किराए से मुक्त जिला था जो राजनीतिक दल का समर्थन कर रहे थे, बदले में किराए से मुक्त महलनुमा बंगले!*

 * कांग्रेस राज में, एक मामला सुप्रीम कोर्ट में जाने से पहले, सब कुछ प्रबंधित किया गया था - कौन सा न्यायाधीश बेंच में जाएगा, और न्यायाधीश क्या निर्णय देगा!*

 * यह कांग्रेस के 70 वर्षों की सफलता का सबसे बड़ा रहस्य है, कि इसने सभी मीडिया और न्यायपालिका को प्रबंधित किया है, और देश पर शासन किया है!*

 * क्या आपने कभी राहुल गांधी, लालू यादव, सीताराम येचुरी, मायावती, अखिलेश, ममता, महबूबा और अन्य विपक्षी नेताओं को एक-दूसरे को चोर कहते सुना है?*"

  * नहीं !!!*

 जबकि उनमें से कुछ को दोषी ठहराया गया है, कुछ जेल में हैं, कुछ जमानत पर हैं और कुछ अदालतों में मुकदमे का सामना कर रहे हैं, लेकिन वे एक दूसरे को चोर नहीं कहते हैं!

 * लेकिन, मोदी, जिनके पास कोई आधिकारिक आरोप नहीं है, कोई एफआईआर नहीं है, कोई मुकदमा नहीं चल रहा है, किसी भी अदालत ने किसी भी जांच का आदेश नहीं दिया है, ये सभी नेता उन्हें चोर कह रहे हैं!*

 कोई धन्य समझ, और न ही देश के प्रति जिम्मेदारी की भावना!  ऐसे गद्दारों पर शर्म की बात है!

 * बस ।..  आगे Forward कारो । .. करो!  इसमें केवल 2-3 सेकंड लगेंगे । ..*

  * भारत माता की जय!*👏🇮🇳🇮🇳🇮🇳🚩💪 प्रत्येक हिंदू को इसे पढ़ना चाहिए और इसे 10 हिंदू मित्रों को अग्रेषित करना चाहिए

फिर हिन्दू अपनी पहचान-संस्कारों से क्यों दूर हुआ? कहाँ लुप्त हो गयी- गुरुकुल की शिखा, यज्ञ, शस्त्र-शास्त्र, नित्य मंदिर जाने का संस्कार ?

ऑटो वाले ने मुंह मांगी कीमत मांगी और ब्लैक मेल कर बाध्य किया ओला-उबर के लिए


BSNL  कस्टमर केयर वालों ने 2 -2 घण्टे होल्ड पर रखकर मजबूर किया एयरटेल,वोडाफोन के लिए


कुछ दुकानदारों ने दो गुना तीन गुना कीमत वसूली और नकली माल देकर मजबूर किया ऑनलाइन शॉपिंग के
लिए



सरकारी अस्पताल के लापरवाही और  ग़ैरजिम्मेदाराना व्यवहार ने मजबूर किया  प्राइवेट हॉस्पिटल के लिए,

रोडवेज के धीमे,असुविधाजनक सफर ने मजबूर किया प्राइवेट बसों में डीलक्स कोच के लिए



सरकारी स्कूल में रिक्त पद, लचर पढ़ाई, अव्यवस्थित प्रबंध और दायित्वबोध की कमी ने मजबूर किया प्राइवेट स्कूल के लिए


सरकारी बैंक की दादागिरी,ने मजबूर किया प्राइवेट बैंक में खाता खोलने को



अब रो रहे BSNL बिक जाएगा,
एयर इंडिया बन्द हो जाएगी
तो होने दो

प्रकृति योग्य का वरण कर नालायकों का मरण स्वयं कर देती है...

प्रशन -कितने लोगों को भारत संचार निगम लिमिटेड की चिंता है?

उत्तर- सभी को ।

कितने लोग भारत संचार निगम लिमिटेड की सिम का प्रयोग करते हैं?

उत्तर- कोई नहीं।

प्रशन - सरकारी स्कूल की चिंता कितने लोग करते हैं?

उत्तर- सभी।

प्रशन - सरकारी स्कूल में कितने लोगो के बच्चे पढ़ते हैं?

उत्तर- किसी के नहीं।

प्रशन - कितने लोग पालीथीन मुक्त  वातावरण चाहते हैं?

उत्तर - सभी।

प्रशन - पालीथीन का प्रयोग कौन नहीं करता?

उत्तर- सभी करते हैं।

प्रशन -भ्रष्टाचार मुक्त भारत कौन कौन चाहते हैं?

उत्तर-सभी।

प्रशन - अपने व्यक्तिगत काम के लिए कितने लोगों ने रिश्वत नहीं दी?

उत्तर - सभी ने अपने व्यक्तिगत काम के लिए किसी न किसी को किसी न किसी रूप में रिश्वत जरूर दी है।

प्रश्न- गिरते रुपये की चिंता कितने लोग करते हैं?

उत्तर- सभी करते हैं ।

प्रश्न- कितने लोग सिर्फ स्वदेशी सामान खरीदते हैं?

उत्तर- कोई नहीं ।

प्रश्न- यातायात की बिगड़ी हालात से कौन कौन दुखी है?

उत्तर - सभी ।

प्रश्न- यातायात के नियमों को 100% पालन कौन कौन करता है?

उत्तर- कोई नहीं ।

प्रश्न- बदलाव कौन कौन चाहते हैं?

उत्तर- सभी।

प्रश्न- खुद कितने लोग बदलना चाहते हैं?

उत्तर - कोई नहीं ।

संभलने की जरूरत है !!

1. चोटियां छोड़ी ,
2. टोपी, पगड़ी छोड़ी ,
3. तिलक, चंदन छोड़ा
4. कुर्ता छोड़ा ,धोती छोड़ी ,
5. यज्ञोपवीत छोड़ा ,
6. संध्या वंदन छोड़ा ।
7. रामायण पाठ, गीता पाठ छोड़ा ,
8. महिलाओं, लड़कियों ने साड़ी छोड़ी, बिछिया छोड़े, चूड़ी छोड़ी , दुपट्टा, चुनरी छोड़ी, मांग बिन्दी छोड़ी।
9. पैसे के लिये, बच्चे छोड़े (आया पालती है)
10. संस्कृत छोड़ी, हिन्दी छोड़ी,
11. श्लोक छोड़े, लोरी छोड़ी ।
12. बच्चों के सारे संस्कार (बचपन के) छोड़े ,
13. सुबह शाम मिलने पर राम राम छोड़ी ,
14. पांव लागूं, चरण स्पर्श, पैर छूना छोड़े ,
15. घर परिवार छोड़े (अकेले सुख की चाह में संयुक्त परिवार)।
अब कोई रीति या परंपरा बची है? ऊपर से नीचे तक गौर करो, तुम कहां पर हिन्दू हो, भारतीय हो, सनातनी हो, ब्राह्मण हो, क्षत्रिय हो, वैश्य होया कुछ और हो
कहीं पर भी उंगली रखकर बता दो कि हमारी परंपरा को मैंने ऐसे जीवित रखा है।
जिस तरह से हम धीरे धीरे बदल रहे हैं- जल्द ही समाप्त भी हो जाएंगे।

बौद्धों ने कभी सर मुंड़ाना नहीं छोड़ा!
सिक्खों ने भी सदैव पगड़ी का पालन किया!
मुसलमानों ने न दाढ़ी छोड़ी और न ही 5 बार नमाज पढ़ना!
ईसाई भी संडे को चर्च जरूर जाता है!


फिर हिन्दू अपनी पहचान-संस्कारों से क्यों दूर हुआ?
कहाँ लुप्त हो गयी- गुरुकुल की शिखा, यज्ञ, शस्त्र-शास्त्र, नित्य मंदिर जाने का संस्कार ?
हम अपने संस्कारों से विमुख हुए, इसी कारण हम विलुप्त हो रहे हैं।

अपनी पहचान बनाओ!
अपने मूल-संस्कारों को अपनाओ!!!

अगर आप टोल-वे पर यात्रा कर रहे हैं तो पेट्रोल से लेकर एंबुलेंस तक की मिलती हैं कई सुविधाएं भी

 अगर आप टोल-वे पर यात्रा कर रहे हैं तो पेट्रोल से लेकर एंबुलेंस तक की मिलती हैं कई सुविधाएं भी

अगर आप टोल हाईवे पर यात्रा कर रहे हैं तो एंबुलेंस से लेकर पेट्रोल तक की कई सुविधाएं आपको मुश्किल में मिल सकती हैं, (ShutterStock)

अगर आप टोल हाईवे पर यात्रा कर रहे हैं तो एंबुलेंस से लेकर पेट्रोल तक की कई सुविधाएं आपको मुश्किल में मिल सकती हैं,

मेडिकल इमरजेंसी नंबर पर काल से 10 मिनट में आती है एंबुलेंस

नेशनल हाईवे पर यात्रा के दौरान अक्सर मेडिकल इमरजेंसी की स्थिति बन जाती है. यानी आप या आपके साथ यात्रा कर रहे लोग बीमार हो सकते हैं. ऐसे में मेडिकल इमरजेंसी  फोन नंबर पर कॉल करें.

आपके कॉल के 10 मिनट में एम्बुलेंस आ जानी चाहिए. राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण की एंबुलेंस उपलब्ध कराने वाली हेल्पलाइन का नंबर 8577051000 और 7237999911 है. जब इस नंबर पर बात की गई तो हेल्पलाइन ने बताया कि ये सुविधा बिल्कुल मुफ्त है. एंबुलेंस तुरंत मौके पर पहुंचती है. अगर हल्की फुल्की चिकित्सा की जरूरत है तो ये तुरंत दी जाती है, अन्यथा एंबुलेंस तुरंत आपको निकटवर्ती अस्पताल या नर्सिंग होम तक पहुंचा देती है.News18 Hindi

पूरे देश में नेशनल हाईवे पर यात्रा के दौरान किसी भी तरह की दिक्कत के लिए 1033 और 108 हेल्पलाइन नंबर है. इस पर तुरंत मदद मिलती है

हेल्पलाइन नंबर पर तुरंत मदद
यदि रास्ते में आपको किसी भी तरह की कोई दिक्कत है तो नेशनल हाईवे अथारिटी के हेल्पलाइन नंबर 1033 .या 108 पर फोन करें. तुरंत मदद मिलेगी. ये सेवा लगातार चौबीस घंटे चलती रहती है. आपका फोन तुरंत एनएचईआई के कॉलसेंटर पर कोई एग्जीक्यूटिव रिसीव करेगा. वो आपकी समस्या का निदान करने की कोशिश करेगा.

अगर रास्ते में पेट्रोल खत्म हो गया तो भी मिलेगी मदद
यदि अचानक किसी कारणवश आपकी गाड़ी का ईंधन खत्म हो गया तो चिंता की बात नहीं. आप सड़क के किनारे वाहन खड़ा कर दें. रसीद पर दिए गए हेल्प लाइन नंबर या फिर पेट्रोल नंबर पर फोन करें. आपको जल्द से जल्द 5 या 10 लीटर पेट्रोल या डीजल की आपूर्ति की जाएगी. हां, इस ईंधन की रकम का भुगतान करना होगा. पेट्रोल हेल्पलाइन नंबर 8577051000, 7237999944 है.

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अगर यात्रा के दौरान आपके वाहन का तेल खत्म हो गया या कोई खराबी आ गई तो भी इसके लिए फ्री सर्विस है, जो इसके हेल्पलाइन से मिलती है

वाहन खराब होने पर मैकेनिक और टो की भी सुविधा
अगर यात्रा के दौरान कार या वाहन में कोई खराबी आ जाए. ये रुक जाए तो नेशनल हाईवे की एक हेल्पलाइन तुरंत मदद देगी. वो अपने वाहन पर एक मैकेनिक के साथ आपके पास पहुंचेगी. मैकेनिक को लेकर आने की सुविधा तो मुफ्त है लेकिन आपकी कार या वाहन में जो खराबी है, उसका चार्ज जरूर मैकेनिक वसूल करेगा.

अगर समस्या का वहां समाधान नहीं हो सकता तो वाहन को क्रेन उठाकर निकटवर्ती सर्विस सेंटर तक पहुंचा देगी. नेशनल हाइवे अथारिटी का ये हेल्पलाइन नंबर 8577051000, 7237999955 है.

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जब भी आप राष्ट्रीय राजमार्ग पर अपने वाहन से यात्रा कर रहे हों तो चार हेल्पलाइन नंबर जरूर आपके पास होने चाहिए

ये सभी सेवाएं आपके द्वारा टोल बूथ्स पर किए भुगतान के बदले दी जाती हैं. सभी टोल नाकों पर एंबुलेंस, रिकवरी गाड़ी और सिक्योरिटी टीम रखी जाती है. आमतौर पर लोगों को इसकी जानकारी नहीं होती. लिहाजा हम यात्रा के दौरान तनाव में आ जाते हैं. हमें समझ में नहीं आता कि कैसे और कहां से मदद लें.

ये नंबर हमेशा पास रखें 
नेशनल हाइवे अथारिटी के इन नंबर को जरूर अपने पास रखें. ये नंबर्स इस तरह हैं.
हेल्पलाइन नंबर – 1033,108
क्रेन हेल्पलाइन नंबर – 8577051000, 7237999955
एंबुलेंस हेल्पलाइन नंबर – 8577051000, 7237999911
पेट्रोल हेल्पलाइन नंबर – 8577051000, 7237999944

शनिवार, 19 नवंबर 2022

मुस्लिम महिला और मुस्लिम लड़की पर कभी 35 टुकडे सूटकेस और रेप क्यू नहीं होते ?

गहरा संदेश

*मुस्लिम महिला और मुस्लिम लड़की पर कभी 35 टुकडे सूटकेस और रेप क्यू नहीं होते ?*
इसके 2 जवाब है👇👇

*पहला मुस्लिम महिलाएं अपनी मर्यादा जानती है मर्यादा में रहती है*
*पब्लिक में पराये पुरुषों से हसती बोलती नही है*
*_उनके वस्त्र शालीन होते है उस पर भी वो काला बुरखा पहन कर घूमती है जिस से वो पुरुषों को आकर्षित नही कर पाती_*
*_चाहे मुस्लिम महिला पढ़ी लिखी हो डॉक्टर हो वकील हो चाहे कितनी भी बड़ी पद पर आसीन हो_*
*_तब भी वो अपने मज़हब का आदेश नही त्यागती हिजाब पहन कर ही बाहर निकलती है_*
*_और हां आधी रात को आवश्यक ना हो तब तक वो बाहर आपको भटकति नही दिखेगी_*
*_ना चाट पकौड़ी खाती ना पब में डांस करती मिलेगी_*
*_मुस्लिम औरते ना सिनेमा में 12 बजे के शो में दिखाई देती_*
*_ना सड़क पर सिगरेट दारू और लड़कों के साथ भटकती दिखेगी,_*
*_विपरीत इसके हिन्दू औरतों और लड़कियों को जीतनी आज़ादी दे दो_*
*_उसको कम लगती है,उसको वो सब कुछ करना है जो पुरुष करता है_*
*_उसको गाली देना, दारू पीना सिगरेट पीना और सब कुछ वो करना पसंद है जो पुरुष करते है_*
*(जिसे वे घटियापन भी कहती है)*
*_दूसरी बात मुस्लिम पुरुष अपनी औरतों और लड़कियों के तरफ आँख उठा कर देखने वालों को काट डालते है चुप नही बैठते,_*
*_अपराधी होकर भी अपने लोगो को बचाने की एकता उनमें होती है_*
*_वो भी इतनी की मुस्लिम बहुल इलाके में घुसने की पुलिस की हिम्मत नही होती,*
*ये दोनो बड़े कारण है जो उनकी महिलाओं को सुरक्षित रखते है*
*इसमें पहला कारण अधिक कारणीभूत है औरतों की इज्जत उनके हाथ मे होती है*
*जितनी सुरक्षा औरत अपने आप को दे सकती है उतना कोई और नही दे सकता है*
*अगर विश्वास नही तो हिन्दू औरते 15 दिन बुरखे में घूम कर देख ले*
*कौन आप पर नज़र उठा कर देखता है*
*कौन नही आप स्वयं समझ जाएगी।*

आजकल की हिन्दू महिलाओं की बेशर्मी - by काफिर कन्या

एक बार जरूर पढ़ें 🙏👇

आजकल की हिन्दू महिलाओं की बेशर्मी 

1.करोड़ो हिन्दू लड़कियां सोशल मीडिया पर  छोटे कपड़े , अधनंगे होकर  सेक्सी गानों पर वीडियो बनाती थी  और माँ बाप भी  इतने बेशर्म की मजे लेते रहे या इग्नोर करते रहे ।

2.आजकल लड़कियाँ  पराए मर्दों से मेहंदी लगवाती है , मुल्ले के सैलून , जिम , डांस क्लास  में  जाती है क्या इन बेशर्म लड़कियों को पराए मर्दों से  बात करते , जिम में सटकर मजे लेते , मेहंदी लगवाते , गाल रगड़वाते , डांस सीखने में शर्म नहीं आती ।

3. हिन्दू लड़कियां fb और insta पर  अपने चेहरे और बदन की नुमाइश करते रहती है और लाइक , comment के लिए मरती है जबकि  मुस्लिम लड़कियां अपने मौलाना या मजहब से जुड़ी बातें fb पर डालेगी

4. हिन्दू लड़कियों से धर्म की बात करो तो नाक मुँह सिकोड़ेगी और फिल्म ,tv serial की बात करो तो खुशी से उछल पड़ेगी । 

5 .टाइट जींस , छोटे  कपड़े पहन कर सब जगह जाना , शादी से पहले कई लड़कों से चक्कर चलाना , लिव इन में रहना  , परिवार से विद्रोह कर शादी करना और फिर  लव जिहाद में फंसना 

6.इतना सब करवाने के बाद भी खुद को पीड़िता ,  मासूम कहलाना , देवी  princess , doll ,queen  कहलवाना  इतनी बेशर्मी करने के  बाद ये उम्मीद करना कि हर कोई उसकी इज्जत करे।
वैसे भी फेमिनिज्म का मतलब ही है  respect me just because i am woman.

7 . शादी के बाद झगड़ा करना  , परिवार तोड़ना , पति को उसके बाप भाई से अलग करना, सिंगल फैमिली में रहना , अपने बच्चे को दादा से अलग करना   और इतना सब करने के बाद फिर वही फेमिनिज्म का ड्रामा  respect women ...

8. शादी के बाद भी अपने पुराने प्रेमी से संबंध रखना  आजकल बहुत सी लड़कियाँ जॉइंट  फैमिली में रहना नहीं चाहती , अकेले फ्लैट में रहना  चाहती है ताकि अपने प्रेमी के साथ मजे ले सके ।
बहुत बार अपने पुराने प्रेमी के साथ मिलकर अपने पति का कत्ल भी करवा देती है ।

9. जब हिन्दू लड़के धर्म के लिए लड़ रहे हैं तब हिन्दू लड़कियां मुल्ले का बिस्तर गर्म कर रही है , जेहादी पैदा कर रही है , बाप की संपत्ति मुल्ले को बाँट रही है।

एक तरफ मुस्लिम लड़कियां गरीब होने पर भी किसी अमीर हिन्दू लड़के से शादी करना नहीं चाहती जबकि हिन्दू लड़कियां करोड़पति बाप की बेटी  हो , इंजीनियर, mba की हो तो भी पंचरवाले से चिपक कर रहती है।

10. मुस्लिम लड़कियां हलाला , तीन तलाक , मुताह , घरेलू हिंसा जैसी कुप्रथाओं के बावजूद अपने धर्म के प्रति कट्टर रहती है।

जबकि हिन्दू लड़कियों को अपने धर्म में जितना सम्मान मिलता है वो पचता नहीं है।  इसलिए वो  सनातन वैदिक धर्म छोड़कर अपना हलाला करवाने के लिए मुल्लों के पास जाती है।

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शुक्रवार, 18 नवंबर 2022

मोदीजी ने व्यापार डुबो दिया

*मोदीजी ने व्यापार डुबो दिया* 🥱
ऐसा लोग बोल रहे है
किन्तु कोई भी समझ नहीं पा रहा,व्यापार कमजोर क्यो होते जा रहे है।


हकिकत मे online business ने सब व्यापार को चोपट कर दिया है,अगर हम नहीं चेते तो और हालत खराब हो जायेगी।
स्वीकार सब कर रहे है,व्यापार कम हो गया,वजह कोई नहीं जानना चाह्ता
हकिकत ये है,आज की new पीढी अपनी जरुरत का अधिकतम सामान online ही purchase कर रहे है,किन्तु इसमे हम जाने अनजाने अपने पैरो पर कुल्हाडी मार रहे है
*आप शिकार बन रहे हैं*

 भारत का ऑनलाइन मार्किट है कितना बड़ा??जिसका 30% शेयर अमेज़न के पास है और 20-22% फ्लिपकार्ट और बाकी में बाकी सब कम्पनियां।
अफसोस कि कहीं कोई सीधा जबाब नहीं ढूंढ पाया पर अंदाज़ लगा पाया कि कम से कम 10 लाख रुपये प्रति सेकंड सेल है भारत मे ऑनलाइन कम्पनियों की ।
यानी प्रति मिनट 6 करोड़ रुपये मिनट, यानी 360 करोड़ रुपये प्रति घण्टा और एक दिन में लगभग 4 हज़ार करोड़ रुपये
की बिक्री।
एक साल में लगभग 15 लाख करोड़ की सेल जिसका लगभग 50% सिर्फ 2 कम्पनियां कर रही हैं।
ये पैसा पहले मार्किट में आता था,रोटेट होता था पर अब बस ऑनलाइन सेल में ही जा रहा है
ऊपर से तुर्रा ये की ये बिकता इसीलिए है क्योंकि अक्सर ज्यादा सेल वाली चीजों पर सब्सिडी दे रही है ये कम्पनियां मार्किट से दुकानदार को आउट करने के लिए और इसी हिसाब से अगले 5 साल में कर भी देंगी,फिर अपनी मर्जी के रेट ले लेगी,इनके पास अथाह पैसा है ,जिसका सोर्स कोई नही जान सकता ,

*बडी मुश्किल घड़ी है ये भारत के लिए* .......
गौरतलब है कि कुल gst कलेक्शन एक साल में लगभग 12 लाख करोड़ का है यानी एवरेज 15%( 5/12/18/28 का एवरेज )टेक्स माना जाए तो कुल व्यापार जिस पर gst चार्ज होता है( 0% टेक्स वाली आइटम भी इतनी ही बैठेंगी) वो एक साल में लगभग 80 लाख करोड़ का है,यानी कुल व्यापार का लगभग 20% हिस्सा ऑनलाइन कम्पनियां खींच चुकी हैं

* कहीं ऐसा तो नहीं कि PMC के दिवालिया होने का कारण देश का पैसा विदेश जाना हो ?

* किसी जमाने में ईस्ट इंडिया नाम की विदेशी कम्पनी ने व्यापारी बनकर इस देश में घुसपैठ की थी और हमें गुलाम बना लिया था और आज भी विदेशी ऑनलाइन कम्पनियां हमारे देश के व्यापार पर कब्जा कर रही हैं और हम लोग आने वाले खतरे से अनजान 100 -200- 500 रु की बचत के लालच में अपनी आने वाली पीढ़ियों के भविष्य को दांव पर लगा रहे हैं ।
* पिछले दिनों देश में जहां जहां बाढ़ आई हुई थी वहां किसी भी ऑनलाइन कम्पनी ने आवश्यक सामग्री नहीं पहुंचाई , वहां स्थानीय दुकानदार ही काम आए । 

*भविष्य के खतरे को पहचानो और बन्द करो ऑनलाइन खरीददारी* ।
इसलिए स्वदेशी अपनाए online को भगाए आपके नज़दीक लोगो के साथ व्यापार करे ।

*यदि आप व्यापारी हैं अथवा देश के प्रति वफादार है तो इस मैसेज को अधिक से अधिक शेयर करें और सोते हुए लोगों को जगाने का प्रयास करें* ।!

हो सकता है उनमें से कोई आपको निगलने के लिए अपना आकार धीरेधीरे बढ़ा रहा हो और आप निरे भावुक होकर उसकी दीनहीन दशा को देखकर द्रवित हो रहे हो इसलिए सावधान हो जाइए

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एक बार एक लड़के ने एक सांप पाला, वह लड़का सांप से बहुत प्यार करता था उस सांप के साथ ही खेलता खाता और साथ में ही सोता भी था एक बार वह सांप बीमार जैसा रहने लगा उसने खाना खाना भी छोड़ दिया, यहाँ तक कई दिनों तक उसने कुछ नहीं खाया तो लड़का परेशान हुआ और उसे वेटरिनरी डॉक्टर के यहाँलेकर गया डॉक्टर ने सांप का पूरा चैक अप करने के बाद उस लड़के से पूछा, 
क्या यह सांप आपके साथ ही सोता है ?
उस लड़के ने कहा, हाँ
डॉक्टर ने पूछा,आपसे बहुत सट के सोता है 
लड़का ने कहा,जीहाँ, मुझसे लिपट कर सोता है डॉक्टर ने पूछा,क्या रात को सांप अपनी पूरी बॉडी को स्ट्रेच करता है ?ये सुन कर लड़का चौंका उसने कहा, हाँ डॉक्टर साहब ये रात को अपनी बॉडी को बहुत बुरी तरह स्ट्रेच करता है और मुझसे इसकी इतनी बुरी हालत देखी नहीं जाती और मैं किसी भी तरह से इसका दुःख दूर नहीं कर पाता डॉक्टर ने कहा, इस सांप को कोई बीमारी नहीं है और ये जो रात को तुम्हारे बिल्कुल बगल में लेट कर अपनी बॉडी को स्ट्रेच करता है वो दरअसल तुम्हें निगलने के लिए अपने शरीर को तुम्हारे बराबर लम्बा करने की कोशिश करता है वो लगातार ये परख रहा है कि तुम्हारे पूरे शरीर को वो ठीक से निगल पायेगा या नहीं और निगल लिया तो पचा पायेगा या नहीं 
लड़का अवाक रह गया 
इस घटना से क्या सीखे? जिनके साथ आप खाते पीते उठते बैठते सोते हैं जरुरी नहीं कि वो भी आपको उतना ही प्यार करते हो जितना आपउन्हें प्यार करते हैं हो सकता है उनमें से कोई आपको निगलने के लिए अपना आकार धीरेधीरे बढ़ा रहा हो और आप निरे भावुक होकर उसकी दीनहीन दशा को देखकर द्रवित हो रहे हो इसलिए सावधान हो जाइए

भगवान का मंगल विधान

*भगवान का मंगल विधान*    

*पुरानी बात है - कलकत्ते में सर कैलाशचन्द्र वसु प्रसिद्ध डॉक्टर हो गये हैं। उनकी माता बीमार थीं। एक दिन श्रीवसु महोदय ने देखा—माता की बीमारी बढ़ गयी हैं, रात्रि का समय था। कैलाश बाबू ने बड़ी नम्रता के साथ माताजी से पूछा- 'माँ, तुम्हारे मन में किसी चीज की इच्छा हो तो बताओ, मैं उसे पूरी कर दूँ।' माता कुछ देर चुप रहकर बोलीं- 'बेटा! उस दिन मैंने बम्बई के अंजीर खाये थे। मेरी इच्छा है अंजीर मिल जायँ तो मैं खा लूँ।' उन दिनों कलकत्ते के बाजार में हरे अंजीर नहीं मिलते थे। बम्बई से मँगाने में समय अपेक्षित था । हवाई जहाज थे नहीं। रेल के मार्ग से भी आजकल की अपेक्षा अधिक समय लगता था। कैलाश बाबू बड़े दुखी हो गये - माँ ने अन्तिम समय में एक चीज माँगी और मैं माँ की उस माँग को पूरी नहीं कर सकता, इससे बढ़कर मेरे लिये दु:ख की बात और क्या होगी ? पर कुछ भी उपाय नहीं सूझा । रुपयों से मिलने वाली चीज होती तो कोई बात नहीं थी ।*

 *कलकत्ते या बंगाल में कहीं अंजीर होते नहीं, बाजार में भी मिलते नहीं। बम्बई से आने में तीन दिन लगते हैं। टेलीफोन भी नहीं, जो सूचना दे दें। तब तक पता नहीं - माता जी जीवित रहें या नहीं, अथवा जीवित भी रहें तो खा सकें या नहीं। कैलाश बाबू निराश होकर पड़ गये और मन-ही-मन रोते हुए कहने लगे—'हे भगवन्! क्या मैं इतना अभागा हूँ कि माँ की अन्तिम चाह को पूरी होते नहीं देखूँगा।'*

*रात के लगभग ग्यारह बजे किसी ने दरवाजा खोलने के लिये बाहर से आवाज दी। डॉक्टर वसु ने समझा, किसी रोगी के यहाँ से बुलावा आया होगा। उनका चित्त बहुत खिन्न था। उन्होंने कह दिया-'इस समय मैं नहीं जा सकूँगा।'*

 *बाहर खड़े आदमी ने कहा- 'मैं बुलाने नहीं आया हूँ, एक चीज लेकर आया हूँ-दरवाजा खोलिये।' दरवाजा खोला गया। सुन्दर टोकरी हाथ में लिये एक दरवान ने भीतर आकर कहा-'डॉक्टर साहब! हमारे बाबूजी अभी बम्बई से आये हैं, वे सबेरे ही रंगून चले जायँगे, उन्होंने यह अंजीर की टोकरी भेजी है, वे बम्बई से लाये हैं। मुझसे कहा है कि मैं सबेरे चला जाऊँगा अभी अंजीर दे आओ । इसीलिये मैं अभी लेकर आ गया। कष्ट के लिये क्षमा कीजियेगा ।'*

 

*कैलाश बाबू अंजीर का नाम सुनते ही उछल पड़े। उन्हें उस समय कितना और कैसा अभूतपूर्व आनन्द हुआ, इसका अनुमान कोई नहीं लगा सकता। उनकी आँखों में हर्ष के आँसू आ गये, शरीर  आनन्द से रोमांचित हो गया। अंजीर की टोकरी को लेकर वे माताजी के पास पहुँचे और बोले—‘माँ! लो - भगवान् ने अंजीर तुम्हारे लिये भेजे हैं।' उस समय माता का प्रसन्न मुख देखकर कैलाश बाबू इतने प्रसन्न हुए, मानो उन्हें जीवन का परम दुर्लभ महान् फल प्राप्त हो गया हो ।*

*बात यह थी कि, एक गुजराती सज्जन, जिनका फार्म कलकत्ते और रंगून में भी था, डॉक्टर कैलाश बाबू के बड़े प्रेमी थे। वे जब-जब बम्बई से आते, तब अंजीर लाया करते थे। भगवान्‌ के मंगल विधान का आश्चर्य देखिये, कैलाश बाबू की मरणासन्न माता आज रात को अंजीर चाहती है और उसकी चाह को पूर्ण करने की व्यवस्था बम्बई में चार दिन पहले ही हो जाती है और ठीक समय पर अंजीर कलकत्ते उनके पास आ पहुँचते हैं! एक दिन पीछे भी नहीं, पहले भी नहीं।

       *!!सीख!!*

*इसे कहते हैं कि परमात्मा जिसको जो चीज देना चाहते हैं उसके लिए किसी न किसी को निमित्त बना ही देते हैं।*

*इसलिए यदि कभी किसी की मदद करने को मिल जाये तो अहंकार न कीजियेगा। बस इतना समझ लीजियेगा कि परमात्मा आपको निमित्त बनाकर किसी की सहायता करना चाह रहे हैं....इसका अर्थ ये हुआ कि आप परमात्मा की नजर में हैं।*

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