भारत
में अंग्रेजों के बनाये गए 34735 कानून आज भी चल रहे हैं उनमें से ये एक
है, भारत के न्यायालयों में काम करने वाले वकीलों को देखें जो गर्मी के
मौसम में चाहे 40 डिग्री तापमान क्यों न हो, वो उसमें भी काले कोट, नेक टाइ
पहन के 'प्रैक्टिस' करते हैं। अंग्रेजो की अदालत में काला कोट पहन के
न्यायपालिका के लोग बैठा करते थे। और उनके यहाँ स्वाभाविक है क्योंकि उनके
यहाँ न्यूनतम -40 डिग्री सेंटीग्रेड तापमान होता
है जो भयंकर ठण्ड है । तो इतनी ठण्ड वाली देश में काला कोट ही पहनना पड़ेगा
क्यों कि वो गर्मी देता है। ऊष्मा का अच्छा अवशोषक है। अन्दर की गर्मी को
बाहर नही निकलने देता और बाहर से गर्मी को खिंच के अन्दर डालता है । इसीलिए
ठण्ड वाले देश के लोग काला कोट पेहेन के अदालत में बहस करे तो समझ में आता
है पर हिंदुस्तान के गरम देश के लोग काला कोट पहनके बहस करे !!!!!! 1947
के पहले होता था समझमे आता है पर 1947 के बाद भी चल रहा है ???
भारत अंग्रेजो की गुलामी से तो आजाद हो गया पर इस मानसिक गुलामी से आज तक
आजाद नही हुआ, वकील कोर्ट में 'AC' लगाने की मांग करते है लेकिन काला कोट
उतार के फेक नही देते। स्थिति लज्जास्पद है।
सुप्रीम कोर्ट की बार
कौंसिल है हाई कोर्ट की बार कौंसिल है डिस्ट्रिक्ट कोर्ट की बार कौंसिल है
सभी बार कौंसिल मिलके एक मिनट में फैसला कर सकते है की काल से हम ये काला
कोर्ट नही पहनेंगे।
अंग्रेजो की गुलामी की एक भी निशानी को आज़ादी के 65 साल में हमने मिटाया नही, सबको संभाल के रखा है।
ज्यादा जानकारी के लिए यहाँ Click करें : http://www.youtube.com/watch?v=0fo5tDYfMi8
सोचिए जरा !
जानिए भारत चीन से पीछे क्यों ??
दुनिया में सबसे ज्यादा भारत को ही लुटा ज़ा रहा है, भारत और चीन की तुलना
देखिये की चीन तेजी से ऊपर क्यों ज़ा रहा है .....विदेशी चीन को नहीं लूट
पाते है क्योकि.....
दुनिया में सबसे ज्यादा भारत को ही लुटा ज़ा
रहा है, भारत और चीन की तुलना देखिये की चीन तेजी से ऊपर क्यों ज़ा रहा है
.....विदेशी चीन को नहीं लूट पाते है क्योकि.....
१-भारत में अब तक की सबसे भ्रष्ट सरकार है, जब की चीन में भ्रष्ट लोगो के
लिए मौत की सजा का कानून है और अभी अगस्त में २ बड़े अधिकारियो को फांसी दे
दी गयी है.
२-भारत की सरकार कालाधन जमा करने वालो को बचाती है,
जब की चीन की सरकार ने अभी स्वामी रामदेवजी के 4जून के अनशन से प्रभावित
होकर विदेश में खता रखने वालो के लिए फांसी की सजा का प्राविधान किया है.
३-भारत में एक प्रभावी लोकपाल के लिए जनता को सड़क पर उतरना पद रहा है, वही
चीन में भ्रष्टो के लिए फांसी का कानून रामबाण सिद्ध हो गया है, अब तो
कालाधन रखने वाले भी इसी श्रेणी में आ गए है जो की स्वामी रामदेवजी के कारन
हुआ.
४-भारत में हर मंत्रालय सिर्फ आयत पर जोर देता है जिससे की
कालाधन बनाया ज़ा सके, चीन की सरकार सिर्फ निर्यात पर जोर देकर अकूत विदेशी
मुद्रा कम रही है.आयात को काम करते ज़ा रहे है.
५-भारत में
विदेशी कंपनी आती है तो सिर्फ आफीस खोलकर बाहर से सामान आयात करके भारत को
बाजार बनाते है, निर्यात नहीं करते है जिससे भारत का ही पैसा बाहर ज़ा रहा
है, जब की चीन में विदेशी कंपनी आती है, कारखाना लगाती है, चीनियों को
रोजगार देती है,चीन का कच्चा माल प्रयोग करती है, सारा सामान चीन से बाहर
निर्यात करके अकूत विदेशी मुद्रा चीन को मिलती है.
६-भारत में
देशी कंपनियों को प्रताड़ित किया जाय है और उन्हें टैक्स और कानून के शिकंजे
में फंसाकर विदेशी कंपनियों को खुश किया जाता है, जब की चीन में सरकार खुद
देशी कंपनियों को बताती है किस प्रकार उत्पादन बढ़ाये और निर्यात बढ़ाये,
इसके लिए उन्हें विदेशी कानूनों से भी बचाया जाता है. देशी कंपनियों को
दुनिया भर की रियायत दी जाती है.
७-भारत में एक ही काम के लिए बीस
टैक्स और बीस कानून हैं, चीन चीजे पारदर्शी और अपरिहार्य कानून और टैक्स
है जो निर्यात में मदद करते है.
८-भारत में लालफीता शाही घुसखोरी
का मुख्य कारन है, चीन में घुस खोरी की सजा फांसी है. हर मर्ज की एक दवा
है. सही काम तुरंत होता है, सरकार बाधा के सख्त खिलाफ है.
९-भारत
सरकार के ऊपर ३४ लाख करोड़ रुपये का कर्जा है, जब की चीन सरकार अकेले
अमेरिका को ही ७५० करोड़ डालर का कर्जा दे रखा है, बाकि का कोई हिसाब नहीं
है,
१०-भारत का ४०० लाख करोड़ रूपये का कालाधन ७० विदेशी बैंको
में जमा है जो भारत के किसी काम नहीं आ रहा है, जबकि चीन की सरकार अन्दर ही
अन्दर अपना कालाधन वापस ले लिया है और प्रक्रिया जोर से चालू है. अब तो
कालाधन के खातेदरों केलिए भी फांसी की सजा निर्धारित कर दिया है.
११-भारत में गोपनीयता के नाम पर सेना में भारी लुट मची है और सेना की ताकत
प्रभावित हो रही है, जब की चीन में फांसी की सजा का प्राविधान होने के कारन
सेना भ्रष्टाचार से पूरी तरह मुक्त है.
१२-भारत में अंग्रजी दवा
बनने वाली विदेशी कंपनियों की लुट मची है, चीन में आदि काल से ही
आयुर्वेदिक औषधियों को प्राथमिकता दी जाती है.विश्व में सबसे ज्यादा देशी
दवाये चीन में प्रयोग की जाती है, भारत दुसरे नंबर पर है जब की चीन में
करीब १३५ करोड़ लोग है, भारत में १२१ करोड़.
१३-भारत में सरकार के पास भ्रष्टाचार रोकने की इक्षाशक्ति नहीं है, जब चीन में हर मर्ज की एक दावा है-"भ्रष्टो को मौत"
१४-भारत में ४५% लोग अशिक्षित है और १% लोग अंगेजी जानते है, चीन में
१००%शिक्षा चीनी भाषा में दी जाती है और उनके कम्पुटर भी अंग्रेजी में
नहीं, चीनी भाषा में होते है.
१५-भारत में विदेशी घुसपैठिये को
वोटर कार्ड दिया जाता है, चीन में विदेशियों को इतनी ताड़ना दी जाती है की
कोई वहा गलत तरीके से जाता ही नहीं और गया तो छुप नहीं पाता है, चीन के लिए
खतरा बने लोग ऊपर भेज दिए जाते है, भारत में मुक़दमा किया जाता है और
बिरयानी खिलाई जाती है.
१६-भारत अपनी जमीं छोड़ देता है और पीछे
हटाने को बोल दिया जाता है, जबकि चीन औसत हर साल करीब एक जिले के बराबर
जमीन कही न कही कब्ज़ा करता है.
१७-भारत में सरकार ने ऐसे व्यवस्था
बना दिया है की अन्तं पालन में ही पूरी उर्जा समाप्त हो जाती है और पूरा
परिवार त्रस्त रहता है, जब की चीन सरकार आम जनता को दुनिया भर की छुट देती
है, शिक्षा और सुरक्षा सरकार फ्री में करती है और निर्यातक निति की वजह से
सबको काम दिया जाता है, माता पिता को सिर्फ एक संतान पैदा करने की अनुमति
है.
१८-भारत में वोट की राजनीति होती जिसकी वजह से लोकतंत्र को
लूटतंत्र में बदल दिया गया है, चीन में सिर्फ यही एक चीज नहीं है इसलिए
हमें विश्व का सबसे बड़ा लोकतंत्र होने का गौरव मिला हुआ है. भारत में हर
कदम वोट को ध्यान में रखकर उठाया जाता है.