
जय श्री कृष्णा, ब्लॉग में आपका स्वागत है यह ब्लॉग मैंने अपनी रूची के अनुसार बनाया है इसमें जो भी सामग्री दी जा रही है कहीं न कहीं से ली गई है। अगर किसी के कॉपी राइट का उल्लघन होता है तो मुझे क्षमा करें। मैं हर इंसान के लिए ज्ञान के प्रसार के बारे में सोच कर इस ब्लॉग को बनाए रख रहा हूँ। धन्यवाद, "साँवरिया " #organic #sanwariya #latest #india www.sanwariya.org/
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सोमवार, 5 जून 2023
विश्व पर्यावरण दिवस पर अपनी राशि के अनुसार लगाएं पौधे, बदल सकता है भाग्य
शुक्रवार, 2 जून 2023
कितना महान है हमारा सनातन धर्म। नमन है हमारे ऋषि मुनियों को
गौ भक्त राजा दिलीप जी की कथा
गुरुवार, 1 जून 2023
बस मेरी एक इच्छा पूरी करो”
……….इच्छा ……………..
पति मुस्कुराता हुआ अपने मोबाइल पर फटाफट उँगलियां दौड़ा रहा था! उसकी पत्नी बहुत देर से उसके पास बैठी खामोशी से देख रही थी, जो उसकी रोज़ की आदत हो गई थी और जब भी कोई बात अपने पति से करती तो जवाब ‘हाँ’ ‘हूँ’ में ही होता या नपे-तुले शब्दों में!
“किससे चैटिंग कर रहे हो?”
“फेसबुक फ्रेंड से।”
“मिले हो कभी अपने इस फ़्रेण्ड से?”
“नहीं”
“फिर भी इतने मुस्कुराते हुए चैटिंग करते हो?”
“और क्या करूँ बताओ?”
“कुछ नहीं, फेसबुक पे आपकी महिला मित्र भी बहुत -सी होंगी ना?”
“हूँ”
उँगलियों को हल्का -सा विराम दे मुस्कुराते हुए पति ने हुंकार भरी!
“उनसे भी यूहीं मुस्कुराते हुए चैटिंग करते हो, क्या आप सभी को भली-भांति जानते हो?”
पत्नी ने मासूमियत भरा प्रश्न पर प्रश्न किया!
“भली-भांति तो नहीं मगर रोजाना चैटिंग होते-होते बहुत कुछ हम आपस में एक दूसरे को जानने लगते हैं और बातें ऐसी होने लगती हैं कि मानो बरसों से जानते हो और मुस्कुराहट होठों पे आ ही जाती है, अपने -से लगने लग जाते हैं फिर ये!”
“हूँ और पास बैठे पराये -से!” पत्नी हुंकार सी भरने के बाद बुदबुदाई!
“अभी मजे़दार टॉपिक चल रहा है हमारे ग्रुप में! अरे, अभी तुमने क्या कहा था, ध्यान नहीं दे पाया! बोलो ना फिर से, अरे, यार किस सोच डूब गईं।”
पति मुस्कुराता हुआ तेज़ी से मोबाइल पर अपनी उँगलियाँ चलाता। हुआ एक नज़र पत्नी पे डाल बोला!
“किसी सोच में नहीं! सुनो, बस मेरी एक इच्छा पूरी करोगो?”
पत्नी टकटकी लगाए बोली!
“क्या अब तक तुम्हारी कोई अधूरी इच्छा रखी है मैंने? खैर, बोलो क्या चाहिए?”
“मेरा मतलब ये नहीं था, मेरी हर इच्छाएँ आपने पूरी की हैं मगर ये बहुत ही अहम है!”
“ऐसी बात तो बोलो क्या इच्छा?”
“एंड्रॉयड मोबाइल”
“मोबाइल! बस इनती- सी बात, ओके डन! मगर क्या करोगी बताना चाहोगी?” पति चौकता बोला!
पत्नी ने भीगी पलकों से प्रत्युत्तर दिया! “और कुछ नहीं, चैटिंग के ज़रिये आप मुझसे भी खुलकर बातें तो करोगे!”
ये पोस्ट का मेन मक़सद ये है की आज के युग Digital युग मे इंसान इतना मसगुल होग्या है की वो अपनी निजी ज़िंदगी को भी टाइम नही देता है सो ये पोस्ट के माध्यम से ये कहना चाहता हूँ की पहले आप अपने को टाइम दो क्यूँकि डिजिटल जैसे मोबाइल बेग़ैरह से जादा importanta आपका परिवार है शुक्रिया!
बहुत सी औरते अपनी लाइफ मे अपने इसलिए अकेली महसूस करती है क्युकी उनके पति के पास उनके लिए वक्त ही नहीं होता है ,शायद इसलिए वो एक साथी कि तलाश करती है जो उनके अकेलेपन को समझें उनसे बात करें खुलकर कि वो क्या चाहती है !उनकी इक्षाये को समझें बिना कहे सब कुछ जान जाँए उनकी मन कि बाते और उन्हें खुद मे समेट ले लेकिंन अफ़सोस ऐसा होता नी है शायद इसलिए एक औरत मजबूर होती है !और बहुत से इंसान इसे गलत कहते है लेकिन मै मानता हु हर औरत का होता है अपनी लाइफ को खुल के जीने का 🙏🙂
देर रात को 6 मिस्ड कॉल प्राप्त करने के बाद एक व्यवसायी 1.86 करोड़ कैसे खो सकता है? क्या है सिम कार्ड घोटाला?
यह घटना क्यू और कैसे हुई जानने के लिए पूरा पढे-
OTP के बिना ट्रांसेक्शन हो नही सकता (अंतर्राष्ट्रीय डेबिट/क्रेडिट कार्ड द्वारा की गयी लेन देन को छोड़कर). पर इस घटना में किसी कार्ड से लेनदेन नही हुआ था बल्कि उस व्यापारी के खाते से अलग अलग खातों में ट्रांसफर किया गया था और ट्रांसफर के लिए भी OTP जरूरी है।
तो सवाल उठता है OPT इन ठगों को मिला कैसे जबकि सिम कार्ड व्यापारी के पास था? और उस व्यापारी ने OTP किसी को नही बताया था। बताएगा भी कैसे क्योंकि उसके मोबाइल में OTP आया ही नही था।
जवाब यह है की इन ठगों ने SIM Swap की थी।
- SIM Swap क्या होता है?
सिम स्वाप मतलब अगर आपको अपने पुराने सिम कार्ड को बदलकर उसी नंबर से नया कार्ड लेना हो तो इस प्रक्रिया को सिम स्वाप कहते है।
सिम स्वाप एक सामान्य प्रक्रिया है जिसकी जरूरत मोबाईल धारकों को कभी न कभी पड़ती ही है जैसे —
- जब आपका मोबाईल चोरी या गुम हो जाता है तब उसी नंबर की दूसरी सिम लेने के लिए।
- जब सिम कार्ड टूट फुट या कट कर खराब हो जाता है।
- जब एक सर्विस प्रवाइडर से दूसरे सर्विस प्रवाइडर मे port करना चाहते है। उदाहरण के लिए एयरटेल से जिओ या जिओ से एयरटेल।
पर ठग इसी सिम स्वाप का गलत फायदा उठा सकते है । इसमे किसी व्यक्ति को टारगेट किया जाता है और उसकी तमाम निजी जानकारिया जुटाई जाती है फिर इस जानकारी की सहायता से उपउक्त व्यक्ति के सिम कार्ड को बंद करवा कर अपने पास स्थित एक खाली सिम मे उस नंबर को चालू करवा लिया जाता है।
सिम स्वाप के लिए ठगों ने उस व्यापारी के मोबाइल को हैक करके तमाम निजी जानकारी जैसे नाम पता, आधार कार्ड, ID नंबर, बैंकिंग जानकारिया इत्यादि जान ली थी। पर किसी का भी फ़ोन ऐसे ही हैक नही हो जाता। उस व्यापारी ने कभी किसी इनसिक्योर (असुरक्षित) वेबसाइट, संक्रमित ऍप, SMS या ईमेल के संक्रमित लिंक या फिसिंग वेबसाइट पर गए होंगे और अपनी बैंकिंग व अन्य डिटेल्स डाल दी होगी। जिससे तमाम निजी एवं गुप्त जानकारी ठगों के पास पहुच गयी होगी। सारी जानकारी के बाद ठगों को सिर्फ OTP की जरूरत थी उसके लिए उन्होंने सिम स्वापिंग का सहारा लिया।
ये सब जानकारी जब ठगों के हाथ मे आ जाती है तो वे कस्टमर केयर को उस नंबर का मालिक बनकर फोन लगते है। यहाँ काम आती है तमाम निजी जानकारी जो ठगों ने जुटाई थी। इन निजी जानकारियों को लेकर ठग कस्टमर केयर वालों को यह विश्वास दिला देते है की इस नंबर का मालिक ही फोन कर रहा है और उसका मोबाईल गुम हो गया है । इसलिए वे पुराने सिम को बंद कर देते है और ठगों के पास जो खाली सिम रहता है उसे उसी नंबर से चालू कर देते है।
अब नंबर खुद ठगों के पास आ जाता है तो वे आसानी से OTP प्राप्त कर ठगी को अंजाम देते है।
पीड़ित को ठगी होने का पता तब चलता है जब वह अपना मोबाईल देखता है। चूंकि उसका सिम बंद हो चुका होता है इसलिए मोबाईल मे नेटवर्क नहीं आएगा। नेटवर्क नहीं आता देखकर भी आदमी इसे नेटवर्क की खराबी समझकर कुछ समय ऐसे ही जाने देता है। जब तक कारण पता लगता है तब तक देर हो चुकी होती है।
सिम
स्वैप करने के बाद ठग उस व्यापारी के नंबर पर बार बार इसलिए कॉल कर रहे थे
ताकि ये कन्फर्म हो जाए की उस व्यापारी के पास जो सिम है वह बंद हुआ की
नही और ठगों के पास जो उसी नंबर का सिम था वह चालू हुआ या नही। क्योंकि
मोबाइल नेटवर्क में कभी भी 1 नंबर के 2 सिम एकसाथ चालू नही रह सकते।
- कैसे बचे सिम स्वाप फ्रॉड से ?
- हमेशा नेट बैंकिंग अपने खुदके मोबाईल/कंप्युटर मे करे। नेट कैफै के कंप्युटर मे ना करें।
- गलती से भी पब्लिक वाईफाई जैसे रैलवे स्टेशन, बस स्टैन्ड, पब्लिक वाईफाई हॉटस्पॉट, बिना पासवर्ड के वाईफाई आदि मे नेट बैंकिंग का उपयोग नहीं करना।
- बैंक या किसी भी वेबसाईट के URL (वेबसाईट का अड्रेस) मे "https" जरूर होना चाहिए। अगर सिर्फ "http" है ( p के बाद s नहीं है) तो इन वेबसाईट मे ना जाएं। क्यूंकी ये वेबसाईट Encrypted नहीं होती और आप जो भी डिटेल्स वेबसाईट मे डालते है उसे हैकर आसानी से देख सकता है।
- बैंक के वेबसाईट का URL सही से डाले कोई स्पेलिंग मिस्टैक ना हो। क्यूंकी मिलते जुलते या स्पेलिंग मिस्टैक वाले URL फिसिंग वेबसाईट हो सकते है। फिसिंग वेबसाईट किसी मूल वेबसाईट जैसे किसी बैंक की वेबसाईट की हूबहू नकल होती है। इसमे जाने पर आपको लगेगा की आप अपने बैंक की वेबसाईट पर है पर यह नकली वेबसाईट होती है और इसमे आपके लॉगिन आइडी पासवर्ड डालते ही यह इस नकली वेबसाईट के मालिक के पास चल जाता है।
- URL type करके ही डाले। किसी SMS, ईमेल या अन्य वेबसाईट मे दिए गए URL पे क्लिक करके बैंक के वेबसाईट मे ना जाए।
- अपने मोबाईल मे प्ले स्टोर से ही एप डाउनलोड करे किसी अन्य वेबसाईट से ना करे। और कंप्युटर मे Cracked, Moded सॉफ्टवेयर इंस्टॉल ना करे।
- मोबाईल और कंप्युटर मे Antivirus इंस्टॉल करे।
- जहां जरूरी ना हो उस वेबसाईट मे निजी जानकारी ना दे।
- निजी जानकारी वाले ID Card जैसे आधार कार्ड आदि की फोटोकापी कराते समय सुनिश्चित करे की फोटोकापी दुकान मे ना छोड़े।
- अपना फेसबूक, इंस्टाग्राम, आदि की प्रोफाइल पब्लिक ना रखे और किसी अनजान को फ्रेंड नहीं बनाए।
- अपना मोबाईल नंबर पब्लिक प्लेस मे शेयर ना करे इसे छुपा कर रखे।
- 2 स्टेप वेरीफिकेशन का उपयोग करें जैसे गूगल Authenticator।
- सिम कार्ड मे लिखा हुआ नंबर किसी को ना बताएं।
- बैंक ट्रैन्सैक्शन अलर्ट के लिए SMS के साथ साथ ईमेल अलर्ट भी रखे।
- OTP कभी भी किसी को ना बताएं। फोन पर बैंक मैनेजर बनकर आपकी निजी जानकारी जैसे आधार, नाम, पता, डेबिट/क्रेडिट कार्ड नंबर, CVV, अकाउंट नंबर, आइडी पासवर्ड, OTP आदि मांगने वालों से दूर रहे। फोनपर बैंक कभी भी कोई भी निजी जानकारी नहीं मांगते।
- मोबाईल मे नेटवर्क ज्यादा देर तक गायब रहे तो सर्विस प्रवाइडर को फोन कर सुनिश्चित करें क्या समस्या है। अगर किसी ने सिम स्वाप की रीक्वेस्ट की होगी तो सही समय मे पता लगने पर नंबर ब्लॉक करा कर फ्रॉड से बच सकते है।
आशा करता हूँ आपकी जानकारी बढ़ी होगी। टेक्नॉलजी के फायदे है तो नुकसान भी है। पर नुकसान से डरने की बजाए अपना टेक्नॉलजी ज्ञान बढ़ाएं और सतर्क रहे तो कोई कुछ नहीं बिगाड़ सकता।
बुधवार, 31 मई 2023
भारत में Salaried व्यक्तियों के सामने आने वाले महत्वपूर्ण मुद्दों में से एक Financial Planning की आवश्यकता है। - Ample Capital, Udaipur
भारत में Salaried व्यक्तियों के सामने आने वाले महत्वपूर्ण मुद्दों में से एक Financial Planning की आवश्यकता है।
Money Control द्वारा रिपोर्ट किए गए Salaried कर्मचारियों के एक Survey से पता चला है कि अधिकांश भारतीय Financial Planning के लिए संघर्ष करते हैं। रिपोर्ट में इस बात पर प्रकाश डाला गया है कि Salaried व्यक्ति अक्सर केवल Employer Benefit पर निर्भर होते हैं और अभी भी यह निर्धारित कर रहे हैं कि वे अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए सही Financial Decisions ले रहे हैं या नहीं।
रिपोर्ट में Financial Education कंपनी फिनसेफ इंडिया के एक सर्वेक्षण का हवाला दिया गया है। यह 1,364 Salaried कर्मचारियों के बीच आयोजित किया गया था। सर्वेक्षण के अनुसार, 48% Respondents ने माना कि Financial Goals के लिए योजना बनाना उनका सबसे महत्वपूर्ण Financial Challenge था। वहीं, 42% फीसदी ने कहा कि अगर वे बेरोजगार हो गए तो वे अपना खर्च नहीं उठा पाएंगे।
कई लोगों के लिए, क्रेडिट कार्ड Loan सहित, Loan चुकाने में असमर्थ होने की तुलना में, वृद्ध माता-पिता की देखभाल करना और Medical Expenses को कवर करना अधिक महत्वपूर्ण चिंताएं हैं।
Source: Ample Capital, Udaipur.
Website: amplecapital.in
मंगलवार, 23 मई 2023
क्या आप भारतीय संस्कृति के गौरव को समझते हैं...?
रविवार, 21 मई 2023
#लोहागर्ल 🚩माहेश्वरी समाज #उत्पत्ति_स्थल ‼️⚜️
गरुड़गंगा,जहां की शिला घर में रखने पर,हर बाधा हो जाती है दूर
गरुड़गंगा,जहां की शिला घर में रखने पर,हर बाधा हो जाती है दूर
“औषधीय गुणों वाला किलमोड़ा का पेड़” Berberis aristata benefits
नमस्कार दोस्तों, आज हम आपको उत्तराखंड में पाया जाने वाला “औषधीय गुणों वाला किलमोड़ा का पेड़” Berberis aristata benefits के बारे में बताने वाले हैं यदि आप जानना चाहते है उत्तराखंड में पाया जाने वाला “औषधीय गुणों वाला किलमोड़ा का पेड़” Berberis aristata benefits के बारे में तो इस पोस्ट को अंत तक जरुर पढ़े|

किलमोड़ा देवभूमि का औषधीय प्रजाति-
किलमोड़ा उत्तराखंड के 1400 से 2000 मीटर की ऊंचाई पर मिलने वाला एक औषधीय प्रजाति है। इसका बॉटनिकल नाम ‘बरबरिस अरिस्टाटा’ है। यह प्रजाति दारु हल्दी या दारु हरिद्रा के नाम से भी जानी जाती है। पर्वतीय क्षेत्र में उगने वाले किल्मोड़े से अब एंटी डायबिटिक दवा तैयार होगी।
किलमोड़ा पौधा दो से तीन मीटर ऊंचा होता है। पहाड़ में पायी जाने वाली कंटीली झाड़ी किनगोड़ आमतौर पर खेतों की बाड़ के लिए प्रयोग होती है। आपको यह जानकर हैरानी होगी कि यह औषधीय गुणों से भी भरपूर है। कुमाऊं विवि बॉयोटेक्नोलॉजी विभाग ने इस दवा के सफल प्रयोग के बाद अमेरिका के इंटरनेशनल पेटेंट सेंटर से पेटेंट भी हासिल कर लिया है। विवि की स्थापना के बाद अब तक यह पहला पेटेंट है
वनस्पति विज्ञान में ब्रेवरीज एरिस्टाटा को पहाड़ में किलमोड़ा के नाम से जाना जाता है। इसकी करीब 450 प्रजातियां दुनियाभर में पाई जाती हैं। भारत, नेपाल, भूटान और दक्षिण-पश्चिम चीन सहित अमेरिका में भी इसकी प्रजातियां हैं।
किलमोड़े के फल में पाए जाने वाले एंटी बैक्टीरियल तत्व शरीर को कई बींमारियों से लड़ने में मदद देते हैं। दाद, खाज, फोड़े, फुंसी का इलाज तो इसकी पत्तियों में ही है। डॉक्टर्स कहते हैं कि अगर आप दिनभर में करीब 5 से 10 किलमोड़े के फल खाते रहें, तो शुगर के लेवल को बहुत ही जल्दी कंट्रोल किया जा सकता है। इसके अलावा खास बात ये है कि किलमोड़ा के फल और पत्तियां एंटी ऑक्सिडेंट कही जाती हैं। एंटी ऑक्सीडेंट यानी कैंसर की मारक दवा। किलमोडा के फलों के रस और पत्तियों के रस का इस्तेमाल कैंसर की दवाएं तैयार करने के लिए किया जा सकता है। हालांकि वैज्ञानिकों और पर्यवरण प्रेमियों ने इसके खत्म होते अस्तित्व को लेकर चिंता जताई है। इसके साथ किलमोड़े के तेल से जो दवाएं तैयार हो रही हैं, उनका इस्तेमाल शुगर, बीपी, वजन कम करने, अवसाद, दिल की बीमारियों की रोक-थाम करने में किया जा रहा है। इसके पौधे कंटीली झाड़ियों वाले होते हैं और एक खास मौसम में इस पर बैंगनी फल आते हैं।
किल्मोडा पौधे के औषधीय गुण
- किल्मोडा की ताज़ा जड़ों का उपयोग मधुमेह और पीलिया के इलाज के लिए किया जाता है। जड़ों में कुल क्षारीय सामग्री 4% और उपजी में है, 1.95%, जिनमें से बेरबेरिन क्रमशः 09 और 1.29% है।
- किल्मोडा (बर्बेरिस एशियाटिक) अर्क ने शक्तिशाली एंटीऑक्सिडेंट गतिविधि को दिखाया जो स्वस्थ दवा और खाद्य उद्योग दोनों में लागू होता है।
- यह गठिया के इलाज में भी उपयोगी होता हैं|
- किल्मोड़ा के फलों के रस और पत्तियों के रस का इस्तेमाल कैंसर की दवाएं तैयार करने के लिए किया जा सकता है।
- इस पौधे में एंटी डायबिटिक, एंटी इंफ्लेमेटरी, एंटी ट्यूमर, एंटी वायरल और एंटी बैक्टीरियल तत्व पाए जाते हैं। डायबिटीज के इलाज में इसका सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है।
- इस पौधे की जडो का रस पेट दर्द में तुरंत आराम देती है|
गुरुवार, 18 मई 2023
तीसरी कक्षा का रजिस्टर
शुक्रवार, 12 मई 2023
गरुड़ संजीवनी.
गुरुवार, 11 मई 2023
कमाल की है ‘#मूंग_की_दाल’हम इसे बीमारियों में क्यों खाते हैं..?
बुधवार, 10 मई 2023
सोलह_प्रकार_की_माताएँ
ॐ त्र्यंबकम् मंत्र के 33 अक्षर महर्षि वशिष्ठ के अनुसार 33 देवताआं के घोतक हैं।
द केरला स्टोरी का सबसे भयावह दृश्य कौनसा था? समीक्षा
मंगलवार, 9 मई 2023
अति सुन्दर,सनातन घड़ी
शुक्रवार, 5 मई 2023
पीलू (peelu) Salvadora persica Linn. पीलू || मारवाड़ का अंगूर, पीलू के औषधीय प्रयोग
पीलू || मारवाड़ का अंगूर
पीलू का परिचय (Introduction of Peelu)
पीलू (peelu) एक कांटेदार वृक्ष है। कई लोग पीलू को पीलु या पीला भी कहते हैं। इसके फल मीठे तथा स्वादिष्ट होते हैं। आपने शायद पीलू को देखा भी होगा क्योंकि अनेक लोग पीलू के वृक्ष के डंठलों से दातुन भी करते हैं। कुछ ही लोगों को यह पता होता है कि पीलू का प्रयोग औषधि के रूप में भी किया जाता है। आयुर्वेदिक जानकार ये बताते हैं कि पीलू एक बहुत ही गुणी औषधि है और पीलू का प्रयोग कर कई रोगों को ठीक (Meswak tree benefits) किया जा सकता है। पेट के रोग, पथरी, बवासीर और तिल्ली विकार में पीलू का उपयोग कर लाभ पाया जा सकता है।
इसी तरह वात्त, पित्त और कफ दोष तथा सिर दर्द आदि में भी पीलू का प्रयोग लाभदायक होता है। इतना ही नहीं, कुष्ठ रोग, डायबिटीज में भी पीलू के प्रयोग से बहुत लाभ मिलता है। पीलू (Salvadora persica benefits) की जड़ की छाल से शारीरिक कमजोरी और मासिक विकार दूर होते हैं। आइए जानते हैं कि आप पीलू से और क्या-क्या फायदे ले सकते हैं।
पीलू क्या है? (What is Peelu?)
पीलू का वृक्ष (Meswak tree) 2-3 मीटर ऊँचा होता है और इसकी दो जातियां होती है। इसकी शाखाएं कमजोर और नीचे की ओर झुकी हुई होती हैं। शाखाएं छोटी और हमेशा हरी रहती हैं। पीलू के फल 3 मिमी व्यास के, गोल, चिकने होते हैं। ये कच्ची अवस्था में हरे और पके अवस्था में लाल रंग के, चमकीले तथा रस-युक्त होते हैं। प्रत्येक फल में एक बीज होता है। फलों को मसलने से तेज गन्ध आती हैं।
(1) छोटा पीलू
(2) बड़ा पीलू।
अनेक भाषाओं में पीलू के नाम (Peelu Called in Different Languages)
पीलू का वानस्पतिक नाम Salvadora persica Linn. (सैल्वेडोरा पर्सिका) Syn-Salvadora indica Wight है और यह Salvadoraceae (सैल्वैडोरेसी) कुल का है। पीलू को देश या विदेश में अन्य कई नामों से भी जाना जाता है, जो ये हैंः-
Peelu in –
Hindi – पीलू, छोटा पीलू, खरजाल
English – मेसवाक (Meswak), साल्ट बुश ट्री (Salt bush tree), मस्टर्ड ट्री (Mustard tree), Tooth brush tree (टूथ ब्रश ट्री)
Sanskrit – पीलू , पीलू, गुडफल्, स्रीं, शीतफल, गौली, शीत, सहस्राक्षी, शीतसह, श्याम, करभवल्लभ, पीलूक
Oriya – कोटुङ्गो (Kotungo), टोबोटो (Toboto)
Urdu – पीलू (Pilu)
Kannada – गोनी मारा (Goni mara), गोनी (Goni)
Gujarati – पीलू (Pilu), खरि जाल (Khari jal)
Tamil – पेरुन्गोलि (Perungoli), कलावी (Kalavi)
Telugu – गोगु (Gogu), गुनिया (Gunia)
Bengali – पीलूगाछ (Pilugach), पीलू (Pilu)
Nepali – पिलु (Pilu)
Punjabi – पीलू (Pilu), झाल (Jhal)
Marathi – पीलू (Pilu), खाकिन (Khakin)
Malayalam – उका (Uka)
Arabic – अराक (Arak), मिसवाक (Miswaq)
Persian – दरख्ते मिसवाक (Darkhate miswak)
पीलू के औषधीय गुण (Peelu Benefits and Uses in Hindi)
पीलू के औषधीय प्रयोग (Meswak tree benefits), प्रयोग की मात्रा एवं विधियां ये हैंः-
मुँह के छाले में पीलू का प्रयोग लाभदायक (Benefits of Peelu in Cure Mouth Ulcer in Hindi)
पीलू के फलों को खाने से मुंह के छाले की समस्या खत्म होती है।
मुंह के रोग में पीलू का उपयोग फायदेमंद (Peelu Benefits in Oral Disease Treatment in Hindi)
पीलू की लकड़ी का दातून करने से दांत तथा मसूड़े मजबूत होते हैं।
इससे मुंह की बदबू खत्म होती है।
सांसों की बीमारी में पीलू के प्रयोग से लाभ (Uses of Peelu to Treat Respiratory Disease in Hindi)
पीलू के पत्तोंं का काढ़ा बनाकर 10-20 मिली मात्रा में पीने से श्वास (सांस फूलना/दमा) और खांसी में लाभ होता है।
पेट के रोग में पीलू के उपयोग से फायदा (Peelu Uses in Cure Abdominal Disease in Hindi)
भुने हुए पीलू फल को सेंधा नमक के साथ खाएं और साथ में गोमूत्र, दूध या अंगूर का रस पीने से पेट की बीमारी जैसे – पैट की गैस की समस्या (Meswak tree benefits) ठीक होती है।
पेट के फूलने पर पीलू के सेवन से लाभ (Benefits of Peelu in Flatulence in Hindi)
पीलू के पेस्ट से पकाए हुए घी का सेवन करने से पेट के फूलने की समस्या में लाभ (peelu ke fayde) होता है।
आंतों के रोग में पीलू के सेवन से फायदा (Peelu Benefits in Cure Intestinal Disease in Hindi)
निशोथ, पीलू, अजवायन, कांजी आदि अम्ल द्रव्य तथा चित्रकादि पाचन द्रव्यों को मिलाकर सेवन करें। इससे पेट दर्द और आंतों के रोग में लाभ होता है।
पीलू का प्रयोग कर बवासीर का इलाज (Uses of Peelu in Piles Treatment in Hindi)
रोज सुबह 7 दिन से एक माह तक पीलू को अकेले या छाछ के साथ सेवन करें। इससे बवासीर, पेट की गैस, पाचन विकार, गुदा विकार आदि में लाभ (peelu ke fayde) मिलता है।
सहिजन बीज, जड़ी बीज, कनेर पत्ते, पीलू वृक्ष की जड़, बेलगिरी तथा हींग को थूहर के दूध के साथ पीस लें। इसे बवासीर के मस्सों पर लेप करने से लाभ होता है।
पीलू के तेल में बत्ती भिगोकर गुदा में रखने से बवासीर में लाभ होता है।
मूत्र-विकार (पेशाब संबंधित बीमारी) में पीलू का उपयोग (Peelu Uses to Treat Urinary Disease in Hindi)
पीलू के फलों का काढ़ा बनाकर 10-40 मिली मात्रा में पिएं। इससे मूत्र विकार ठीक होते हैं।
पीलू के प्रयोग से सुजाक का इलाज (Benefits of Peelu in Cure Gonorrhea in Hindi)
10-40 मिली पीलू की जड़ का काढ़ा पीने से सुजाक में लाभ होता है।
गठिया में पीलू के उपयोग से लाभ (Peelu Benefits in Arthritis Treatment in Hindi)
बलाजड़, शतावरी जड़, रास्ना, दशजड़, पीलू फल, काली निशोथ, एरण्डजड़ तथा शालपर्णी के पेस्ट को दूध में पका कर सेवन करें। इससे गठिया में लाभ (peelu ke fayde) होता है।
पीलू के पत्ते को पीसकर लगाने से भी जोड़ों के दर्द या गठिया में लाभ होता है।
पीलू के पत्ते तथा निर्गुण्डी के पत्तोंं को समान मात्रा में लेकर पीस लें। इसे जोड़ों पर बांधने से जोड़ों के दर्द का ठीक होता है।
पीलू की बीज के तेल की मालिश करने से जोड़ों का दर्द मिटता है।
सफेद दाग में पीलू से लाभ (Uses of Peelu in Cure Leucoderma in Hindi)
तिल्वक, नीम, पीलू, आरग्वध पत्ते, विडंग, कनेर बीज, हरिद्रा, दारुहरिद्रा, लघु तथा बड़ी कटेरी को जल में पीस लें। इसका लेप करने से सफेद दाग खत्म हो जाते हैं।
घाव में पीलू से फायदा (Peelu Uses in Wound Healing in Hindi)
पीलू के पत्तों को पीसकर आग से जले हुए स्थान पर लगाने से लाभ होता है।
पीलू के पत्तों को पीसकर घाव के ऊपर लगाने से घाव में पीव नहीं बनती तथा घाव जल्दी भर (peelu ke fayde) जाते हैं।
अत्यधिक प्यास लगने की समस्या में पीलू के सेवन से फायदा (Peelu is Beneficial in Excessive Thirst Problem in Hindi)
कई लोगों को शराब के सेवन के बाद बहुत अधिक प्यास लगने की समस्या हो जाती है। इसमें पीलू के रस का सेवन करना चाहिए। यह मद्यपान मतलब शराब पीने के बाद अत्यधिक प्यास लगने की समस्या खत्म होती है।
शारीरिक कमजोरी में पीलू के प्रयोग से लाभ (Peelu Help in Treating Body Weakness in Hindi)
पीलू (Salvadora persica benefits) के फलों का सेवन करने से पित्त की अधिकता से होने वाली बीमारियां जैसे- शुक्राणु विकार, कफ एवं वात दोष में लाभ होता है।
शरीर के दर्द में पीलू के उपयोग से फायदा (Peelu Cures Body Pain in Hindi)
पीलू के पत्तोंं को जैतून के तेल में पकाकर छान लें। इस तेल से मालिश करने से दर्द ठीक होता है।
पीलू के उपयोगी भाग (Beneficial Part of Peelu)
पत्ते
फूल
तना
फल
जड़
पीलू के प्रयोग की मात्रा (How Much to Consume Peelu?)
अधिक लाभ के लिए चिकित्सक के परामर्शानुसार पीलू का प्रयोग करें।
पीलू कहां पाया या उगाया जाता है? (Where is Peelu Found or Grown?)
पीलू (Salvadora persica benefits) भारत में बिहार, राजस्थान, कर्नाटक, सिंध आदि शुष्क प्रदेशों में पाया जाता है। यह 500 मीटर की ऊँचाई तक पाया जाता है।
#सदास्वस्थरहें👇👇👇👇👇
शिकार होते रहिए.. फिल्म बनवाते रहिए अपनी पीड़ा पर, कश्मीर फाइल्स,केरला स्टोरी,अजमेर फाइल्स, बंगाल फाइल्स,और अंत में द भारत स्टोरी?
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