होली के रंग : हर रंग कुछ कहता है...-----होली विशेष
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होली आ गई है। धरती से सुनहरी आभा आ रही है। आकाश में नीले, लाल बादल अठखेलियां कर रहे हैं, सूरज के साथ लुका-छिपी खेल रहे हैं। पेड़ों पर नन्हीं कोंपले आ रही हैं और पीले-लाल फूल अपनी खुशबू बिखेर रहे हैं। हर तरफ इंद्रधनुषी रंगों की छटा है और रंगों के इस कोलाज को देखकर मन मोहक हो जाता है।
रंग का पर्याय ऊर्जा से है, उत्साह से है और उमंग से है। रंगो का त्योहार होली का ख्याल आते ही मस्ती सूझने लगती है। होली आती भी है, नए जोश और जज्बे का संदेश लेकर। इस संदेश में अलग-अलग रंग आपको भरपूर मजा लेकर खुलकर जीने का आमंत्रण देते हैं और बताते हैं कि उनकी तरह ही सबमें एक विशेषता है।
लाल :
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होली के मौके पर सबसे ज्यादा चाव से जिस रंग का प्रयोग किया जाता है, वह है लाल रंग। लाल रंग उल्लास और शुद्धता का प्रतीक है। लाल रंग का प्रयोग हर शुभ अवसर पर किया जाता है। दरअसल लाल रंग अग्नि का द्योतक है और ऊर्जा, गर्मी और जोश का प्रतिनिधित्व करता है, इस लिहाज से होली के दौरान होलिका दहन, मौसम में गर्मी का आगमन, त्योहार मनाने में जोश का संचार तो होता ही है, साथ ही त्योहार के साथ हर वर्ग के लोगों में ऊर्जा का प्रवाह होता है, जो उन्हें पूरे वर्ष काम करने के लिए उत्साहित करता है।
पीला :
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पीला रंग पवित्रता का प्रतीक है। होली के दौरान वातावरण में पीले रंग की अधिकता होती है। यह रंग सुनहले रंग के समीप होता है। मिट्टी का रंग भी पीला होता है और इस मौसम में खिलने वाले फूल भी अमूमन पीले होते हैं। यह रंग समृद्धि और यश को इंगित करता है।
हरा :
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हरा रंग जीवन का द्योतक है। इसके साथ ही यह प्रकृति का सबसे प्यारा रंग है। होली के दौरान वातावरण में चहुंओर हरे रंग की आभा आने वाली होती है, जो नए जीवन के शुरुआत का संकेत देती है और इस बात की प्रेरणा देती है कि बीती ताहि बिसार दे, आगे की सुध लेहि। यानी होली का हरा रंग हर व्यक्ति को एक बार फिर अपने में नए जीवन के संचार की प्रेरणा देता है।
नीला :
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नीला रंग शांति, गंभीर और स्थिरता का संकेतक है। हालांकि होली में नीला रंग कम प्रयोग में आता है। लेकिन कभी-कभी नीले गुलाल और अबीर देखे जाते हैं। जल और वायु का रंग नीला माना गया है, इस लिहाज से यह रंग प्राण और प्रकृति से संबंधित है। नीला रंग पूर्णता को इंगित करता है।
काला :
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कुछ लोगों को होली में काला रंग लगाने में सबसे ज्यादा मजा आता है। काला रंग अंतरिक्ष का प्रतीक है। यह रंग प्रभुत्व का भी प्रतीक है क्योंकि सभी रंग अपना अस्तित्व खोकर इसमें समाहित हो जाते हैं।
सफेद :
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सफेद रंग बच्चों का पसंदीदा रंग है। यह सभी रंगों का जनक माना जाता है। प्रकृति के सभी रंगों को एक समान मिलने पर सफेद रंग बनता है। इसलिए इसमें सभी रंगों के गुण मौजूद होते हैं।
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होली आ गई है। धरती से सुनहरी आभा आ रही है। आकाश में नीले, लाल बादल अठखेलियां कर रहे हैं, सूरज के साथ लुका-छिपी खेल रहे हैं। पेड़ों पर नन्हीं कोंपले आ रही हैं और पीले-लाल फूल अपनी खुशबू बिखेर रहे हैं। हर तरफ इंद्रधनुषी रंगों की छटा है और रंगों के इस कोलाज को देखकर मन मोहक हो जाता है।
रंग का पर्याय ऊर्जा से है, उत्साह से है और उमंग से है। रंगो का त्योहार होली का ख्याल आते ही मस्ती सूझने लगती है। होली आती भी है, नए जोश और जज्बे का संदेश लेकर। इस संदेश में अलग-अलग रंग आपको भरपूर मजा लेकर खुलकर जीने का आमंत्रण देते हैं और बताते हैं कि उनकी तरह ही सबमें एक विशेषता है।
लाल :
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होली के मौके पर सबसे ज्यादा चाव से जिस रंग का प्रयोग किया जाता है, वह है लाल रंग। लाल रंग उल्लास और शुद्धता का प्रतीक है। लाल रंग का प्रयोग हर शुभ अवसर पर किया जाता है। दरअसल लाल रंग अग्नि का द्योतक है और ऊर्जा, गर्मी और जोश का प्रतिनिधित्व करता है, इस लिहाज से होली के दौरान होलिका दहन, मौसम में गर्मी का आगमन, त्योहार मनाने में जोश का संचार तो होता ही है, साथ ही त्योहार के साथ हर वर्ग के लोगों में ऊर्जा का प्रवाह होता है, जो उन्हें पूरे वर्ष काम करने के लिए उत्साहित करता है।
पीला :
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पीला रंग पवित्रता का प्रतीक है। होली के दौरान वातावरण में पीले रंग की अधिकता होती है। यह रंग सुनहले रंग के समीप होता है। मिट्टी का रंग भी पीला होता है और इस मौसम में खिलने वाले फूल भी अमूमन पीले होते हैं। यह रंग समृद्धि और यश को इंगित करता है।
हरा :
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हरा रंग जीवन का द्योतक है। इसके साथ ही यह प्रकृति का सबसे प्यारा रंग है। होली के दौरान वातावरण में चहुंओर हरे रंग की आभा आने वाली होती है, जो नए जीवन के शुरुआत का संकेत देती है और इस बात की प्रेरणा देती है कि बीती ताहि बिसार दे, आगे की सुध लेहि। यानी होली का हरा रंग हर व्यक्ति को एक बार फिर अपने में नए जीवन के संचार की प्रेरणा देता है।
नीला :
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नीला रंग शांति, गंभीर और स्थिरता का संकेतक है। हालांकि होली में नीला रंग कम प्रयोग में आता है। लेकिन कभी-कभी नीले गुलाल और अबीर देखे जाते हैं। जल और वायु का रंग नीला माना गया है, इस लिहाज से यह रंग प्राण और प्रकृति से संबंधित है। नीला रंग पूर्णता को इंगित करता है।
काला :
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कुछ लोगों को होली में काला रंग लगाने में सबसे ज्यादा मजा आता है। काला रंग अंतरिक्ष का प्रतीक है। यह रंग प्रभुत्व का भी प्रतीक है क्योंकि सभी रंग अपना अस्तित्व खोकर इसमें समाहित हो जाते हैं।
सफेद :
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सफेद रंग बच्चों का पसंदीदा रंग है। यह सभी रंगों का जनक माना जाता है। प्रकृति के सभी रंगों को एक समान मिलने पर सफेद रंग बनता है। इसलिए इसमें सभी रंगों के गुण मौजूद होते हैं।