जय श्री कृष्णा, ब्लॉग में आपका स्वागत है यह ब्लॉग मैंने अपनी रूची के अनुसार बनाया है इसमें जो भी सामग्री दी जा रही है कहीं न कहीं से ली गई है। अगर किसी के कॉपी राइट का उल्लघन होता है तो मुझे क्षमा करें। मैं हर इंसान के लिए ज्ञान के प्रसार के बारे में सोच कर इस ब्लॉग को बनाए रख रहा हूँ। धन्यवाद, "साँवरिया " #organic #sanwariya #latest #india www.sanwariya.org/
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शुक्रवार, 6 अप्रैल 2012
हनुमानजी से सीखिए जीवन में ज्ञान, कर्म और उपासना
हनुमानजी से सीखिए जीवन में ज्ञान, कर्म और उपासना तीनों में से कोई भी मार्ग चुन लें, समस्याएं हर मार्ग पर आएंगी। लेकिन अच्छी बात यह है कि हर समस्या अपने साथ एक समाधान लेकर ही चलती है। समाधान ढूंढ़ने की भी एक नजर होती है। सामान्यत: हमारी दृष्टि समस्या पर पड़ती है, उसके साथ आए समाधान पर नहीं। श्रीरामचरितमानस के सुंदरकांड में जब हनुमानजी लंका की ओर उड़े तो सुरसा ने उन्हें खाने की बात कही। पहले तो हनुमानजी ने उनसे विनती की। इस विनम्रता का अर्थ है शांत चित्त से, बिना आवेश में आए समस्या को समझ लेना। जब सुरसा नहीं मानी और उसने अपना मुंह फैलाया। जोजन भरि तेहिं बदनु पसारा। कपि तनु कीन्ह दुगुन बिस्तारा।। सोरह जोजन मुख तेहिं ठयऊ। तुरत पवनसुत बत्तिस भयऊ।। उसने योजनभर (चार कोस में) मुंह फैलाया। तब हनुमानजी ने अपने शरीर को उससे दोगुना बढ़ा लिया। उसने सोलह योजन का मुख किया, हनुमानजी तुरंत ही बत्तीस योजन के हो गए। यह घटना बता रही है कि सुरसा बड़ी हुई तो हनुमानजी भी बड़े हुए। हनुमानजी ने सोचा कि ये बड़ी, मैं बड़ा, इस चक्कर में तो कोई बड़ा नहीं हो पाएगा। दुनिया में बड़ा होना है तो छोटा होना आना चाहिए। छोटा होने का अर्थ है विनम्रता। दुनिया जब भी जीती जाएगी, विनम्रता से जीती जाएगी। बड़ा होकर सिर्फ किसी को हराया ही जा सकता है। इसीलिए हनुमानजी ने छोटा रूप लिया और सुरसा के मुंह से बाहर आ गए।
नोट : इस ब्लॉग पर प्रस्तुत लेख या चित्र आदि में से कई संकलित किये हुए हैं यदि किसी लेख या चित्र में किसी को आपत्ति है तो कृपया मुझे अवगत करावे इस ब्लॉग से वह चित्र या लेख हटा दिया जायेगा. इस ब्लॉग का उद्देश्य सिर्फ सुचना एवं ज्ञान का प्रसार करना हैआज हनुमान जयंती....
हिन्दू पंचांग के अनुसार हनुमान जयंती प्रतिवर्ष चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि को मनाई जाती है l मान्यता है कि इसी पावन दिवस को भगवान राम की सेवा करने के उद्येश्य से भगवान शंकर के ग्यारहवें रूद्र ने वानरराज केसरी और अंजना के घर पुत्र रूप में जन्म लिया था l यह त्यौहार पूरे भारतवर्ष में श्रद्धा व उल्लास के साथ मनाई जाती है l भक्तों की मन्नत पूर्ण करने वाले पवनपुत्र हनुमान के जन्मोत्सव पर इनकी पूजा का बड़ा महातम्य होता है l आस्थावान भक्तों का मानना है कि यदि कोई श्रद्धापूर्वक केसरीनंदन की पूजा करता है तो प्रभु उसके सभी अनिष्टों को दूर कर देते हैं और उसे सब प्रकार से सुख, समृद्धि और एश्वर्य प्रदान करते हैं l इस दिन हनुमानजी की पूजा में तेल और लाल सिंदूर चढ़ाने का विधान है l हनुमान जयंती पर कई जगह श्रद्धालुओं द्वारा झांकियां निकाली जाती है, जिसमें उनके जीवन चरित्र का नाटकीय प्रारूप प्रस्तुत किया जाता है l यदि कोई इस दिन हनुमानजी की पूजा करता है तो वह शनि के प्रकोप से बचा रहता है l
जानिए कैसे हुआ हनुमान का जन्म......
भगवान शंकर के ग्यारवें अवतार हनुमान.... की पूजा पुरातन काल से ही शक्ति के प्रतीक के रूप में की जा रही है । हनुमान के जन्म के संबंध में धर्मग्रंथों में कई कथाएं प्रचलित हैं । उसी के अनुसार --
भगवान विष्णु के मोहिनी रूप को देखकर लीलावश शिवजी ने कामातुर होकर अपना वीर्यपात कर दिया । सप्तऋषियों ने उस वीर्य को कुछ पत्तों में संग्रहित कर वानरराज केसरी की पत्नी अंजनी के गर्भ में पवनदेव द्वारा स्थापित करा दिया, जिससे अत्यंत तेजस्वी एवं प्रबल पराक्रमी श्री हनुमानजी उत्पन्न हुए l इसीलिए हनुमान जी को "शंकर-सुवन".... "पवन-पुत्र".... और "केसरी-नंदन" कहा जाता है....l
हनुमान जी सब विद्याओं का अध्ययन कर पत्नी वियोग से व्याकुल रहने वाले सुग्रीव के मंत्री बन गए । उन्होंने पत्नी हरण से खिन्न व माता सीता की खोज में भटकते रामचंद्रजी की सुग्रीव से मित्रता कराई । सीता की खोज में समुद्र को पार कर लंका गए और वहां उन्होंने अद्भुत पराक्रम दिखाए । हनुमान ने राम-रावण युद्ध ने भी अपना पराक्रम दिखाया और संजीवनी बूटी लाकर लक्ष्मण के प्राण बचाए । अहिरावण को मारकर लक्ष्मण व राम को बंधन से मुक्त कराया । इस प्रकार हनुमान अवतार लेकर भगवान शिव ने अपने परम भक्त श्रीराम की सहायता की....l
ॐ आन्जनेयाय विद्महे वायुपुत्राय धीमहि, तन्नो हनुमत प्रचोदयात ||
पवन-सुत हनुमान की जय....
वीर बजरंग बलि की जय....
उमापति महादेव की जय....
सब संतन की जय....
श्री गुरुवे नमः....
हर हर महादेव....
नोट : इस ब्लॉग पर प्रस्तुत लेख या चित्र आदि में से कई संकलित किये हुए हैं यदि किसी लेख या चित्र में किसी को आपत्ति है तो कृपया मुझे अवगत करावे इस ब्लॉग से वह चित्र या लेख हटा दिया जायेगा. इस ब्लॉग का उद्देश्य सिर्फ सुचना एवं ज्ञान का प्रसार करना हैजानिए कैसे हुआ हनुमान का जन्म......
भगवान शंकर के ग्यारवें अवतार हनुमान.... की पूजा पुरातन काल से ही शक्ति के प्रतीक के रूप में की जा रही है । हनुमान के जन्म के संबंध में धर्मग्रंथों में कई कथाएं प्रचलित हैं । उसी के अनुसार --
भगवान विष्णु के मोहिनी रूप को देखकर लीलावश शिवजी ने कामातुर होकर अपना वीर्यपात कर दिया । सप्तऋषियों ने उस वीर्य को कुछ पत्तों में संग्रहित कर वानरराज केसरी की पत्नी अंजनी के गर्भ में पवनदेव द्वारा स्थापित करा दिया, जिससे अत्यंत तेजस्वी एवं प्रबल पराक्रमी श्री हनुमानजी उत्पन्न हुए l इसीलिए हनुमान जी को "शंकर-सुवन".... "पवन-पुत्र".... और "केसरी-नंदन" कहा जाता है....l
हनुमान जी सब विद्याओं का अध्ययन कर पत्नी वियोग से व्याकुल रहने वाले सुग्रीव के मंत्री बन गए । उन्होंने पत्नी हरण से खिन्न व माता सीता की खोज में भटकते रामचंद्रजी की सुग्रीव से मित्रता कराई । सीता की खोज में समुद्र को पार कर लंका गए और वहां उन्होंने अद्भुत पराक्रम दिखाए । हनुमान ने राम-रावण युद्ध ने भी अपना पराक्रम दिखाया और संजीवनी बूटी लाकर लक्ष्मण के प्राण बचाए । अहिरावण को मारकर लक्ष्मण व राम को बंधन से मुक्त कराया । इस प्रकार हनुमान अवतार लेकर भगवान शिव ने अपने परम भक्त श्रीराम की सहायता की....l
ॐ आन्जनेयाय विद्महे वायुपुत्राय धीमहि, तन्नो हनुमत प्रचोदयात ||
पवन-सुत हनुमान की जय....
वीर बजरंग बलि की जय....
उमापति महादेव की जय....
सब संतन की जय....
श्री गुरुवे नमः....
हर हर महादेव....
गुरुवार, 29 मार्च 2012
कोलगेट या जहर ??
कोलगेट या जहर ??
पूरे देश को {Colgate, Closeup, Pepsodent} के नाम पर ज़हर बेचा ज...ा रहा है | लेकिन देश की भ्रष्ट सरकार और बिका हुआ मीडीया अपने मुँह में फ़ैवीकोल डाल कर बैठे हैं।
इनको सिर्फ़ दूध,घी,मावा आदि में ही जहर नजर आता हैं । वो भी दिवाली के दिनो में ताकि विदेशी कंपनियो का माल बिके । लेकिन ये अमेरिकन कंपनिया पिछले 40-40 साल से देश के लोगो को ज़हर बेच रही है, वो इस अंधी-बहरी सरकार और मीडीया को दिखाई नहीं देता ।
लेकिन हमारा आपका और सच्चे देश-भक्त का ये फ़र्ज बनता हैं । इस सच को देश की आम जनता तक पहुँचाये ।
और एक खास ख़बर । क्या आप जानते है ? ?
11 sept 2011 को (DIPRAS) Delhi institute of Pharmaceutical science and research में बड़ी-बड़ी कंपनियों के toothpastes को चेक किया गया ।
जिसमें Nicotine (निकोटीन) पाया मिला है । और 1 ग्राम Toothpaste में 8 सिगरेट जितना Nicotine पाया गया है ।मतलब सुबह उठते आपने 1 ग्राम toothpaste आपने मुँह में घुमाया तो 8 सिगरेट जितना nicotine आपके अंदर |
और एक खास बात इन विदेशी Toothpastes में (Fluoride) 1000 PPM से ज्यादा पाया जाता है । और पुरी दुनिया के Dentist इस बात से सहमत है कोई भी Toothpaste जिसमें (fluoride) होता और 1000 PPM से ज्यादा होता है ।
वो Toothpaste फ़िर Toothpaste नहीं रहता जहर हो जाता है ।
पूरे देश को {Colgate, Closeup, Pepsodent} के नाम पर ज़हर बेचा ज...ा रहा है | लेकिन देश की भ्रष्ट सरकार और बिका हुआ मीडीया अपने मुँह में फ़ैवीकोल डाल कर बैठे हैं।
इनको सिर्फ़ दूध,घी,मावा आदि में ही जहर नजर आता हैं । वो भी दिवाली के दिनो में ताकि विदेशी कंपनियो का माल बिके । लेकिन ये अमेरिकन कंपनिया पिछले 40-40 साल से देश के लोगो को ज़हर बेच रही है, वो इस अंधी-बहरी सरकार और मीडीया को दिखाई नहीं देता ।
लेकिन हमारा आपका और सच्चे देश-भक्त का ये फ़र्ज बनता हैं । इस सच को देश की आम जनता तक पहुँचाये ।
और एक खास ख़बर । क्या आप जानते है ? ?
11 sept 2011 को (DIPRAS) Delhi institute of Pharmaceutical science and research में बड़ी-बड़ी कंपनियों के toothpastes को चेक किया गया ।
जिसमें Nicotine (निकोटीन) पाया मिला है । और 1 ग्राम Toothpaste में 8 सिगरेट जितना Nicotine पाया गया है ।मतलब सुबह उठते आपने 1 ग्राम toothpaste आपने मुँह में घुमाया तो 8 सिगरेट जितना nicotine आपके अंदर |
और एक खास बात इन विदेशी Toothpastes में (Fluoride) 1000 PPM से ज्यादा पाया जाता है । और पुरी दुनिया के Dentist इस बात से सहमत है कोई भी Toothpaste जिसमें (fluoride) होता और 1000 PPM से ज्यादा होता है ।
वो Toothpaste फ़िर Toothpaste नहीं रहता जहर हो जाता है ।
नोट : इस ब्लॉग पर प्रस्तुत लेख या चित्र आदि में से कई संकलित किये हुए हैं यदि किसी लेख या चित्र में किसी को आपत्ति है तो कृपया मुझे अवगत करावे इस ब्लॉग से वह चित्र या लेख हटा दिया जायेगा. इस ब्लॉग का उद्देश्य सिर्फ सुचना एवं ज्ञान का प्रसार करना है
दिनांक 30 may 2012 (बुधवार) को महेश्वरी समाज का उत्पति दिवस "महेश नवमी " है |
दोस्तों , आप सब की अग्रिम जानकारी के लिए बता दूँ की दिनांक 30 may 2012 (बुधवार) को महेश्वरी समाज का उत्पति दिवस "महेश नवमी " है | सभी से विनम्र अनुरोध है की अपने घर,गाँव, अंचल,व प्रदेश में इस पावन पर्व को हर्षउल्लाष व धूम धाम से मनाये| महेश नवमी उत्सव का पालन करना प्रत्यक महेश्वरी का कर्त्तव्य है और समाज उथान व एकता के लिए अत्यंत आवस्यक भी है| याद रहे सामाजिक उथान व एकता पर देश का भविष्य निर्भर करता है|
"समाज एक तो देश एक" - जय महेश
"समाज एक तो देश एक" - जय महेश
पता नहीं भारतीय शिक्षा मंत्रालय और सरकार कब इस बात को समझेगी|
एक आदमी सड़क के किनारे समोसे बेचा करता था| अनपढ़ होने की वजह से वो अख़बार नहीं पढ़ता था| ऊँचा सुनने की वजह से वह न्यूज़ नहीं सुनता था और आँखें कमजोर होने की वजह से उसने कभी टेलीविजन नहीं देखा था| इसके बावजूद वह काफी समोसे बेच लेता था| उसकी बिक्री और नफे में काफी बढ़ोतरी होती गयी| उसने और ज्यादा आलू खरीदना शुरू किया| साथ ही पहले वाले चूल्हे से और बड़ा बढ़िया चूल्हा खरीद लिया| उसका व्यापार लगातार बढ़ रहा था| तभी हाल ही मैं कॉलेज से MBA की डिग्री हासिल कर चूका उसका बेटा पिता का हाथ बटाने के लिए चला आया|
उसके बाद एक अजीबोगरीब घटना घटी| बेटे ने उस आदमी से पूछा"पिता जी क्या आपको मालूम है की हम लोग एक बड़ी मंदी का शिकार बनने वाले हैं|"पिता ने जवाब दिया,"नहीं, लेकिन मुझे उसके बारे में बताओ|"बेटे ने कहा"अंतराष्ट्रीय परिस्तिथितियाँ बड़ी गंभीर हैं| घरेलूं हालत तो और भी बुरे हैं| हमें आने वाले बुरे हालत का सामना करने के लिए तैयार हो जाना चाहिए|"उस आदमी ने सोचा की उसका बेटा कॉलेज जा चूका है, अख़बार पढता है, और न्यूज़ सुनता है, इसलिए उसकी राय को हल्के ढंग से नहीं लेना चाहिए| दुसरे दिन से उसने आलू की खरीद कम कर दी, और अपना साइनबोर्ड निचे उतार दिया| उसका जोश ख़त्म हो चूका था| जल्दी ही उसकी दुकान पर आने वालों की तादात घटने लगी और उसकी बिक्री तेजी से गिरने लगी| पिता ने अपने बेटे से कहा"तुम सही कह रहे थे| हम लोग मंदी के दौर से गुजर रहे हैं| मुझे ख़ुशी है की तुमने वक्त से पहले ही सचेत कर दिया|"
इस कहानी से हमे क्या सिख मिलती है? इससे ये नतीजे निकलते हैं-
१- हम अपनी सोच के मुताबिक, खुद को आत्मसंतुष्ट करने वाली भविष्य वाणियाँ कर देते हैं|
२- कई बार हम बुद्धिमत्ता को अच्छा फैसला मानने की गलती भी कर बैठते हैं|
३- एक इन्सान ज्यादा बुद्धिमान होने के बावजूद गलत फैसले ले सकता है|
४- अपने सलाहकार सावधानी से चुनिए, लेकिन अमल अपने ही फैसले पर करिए|
५- कई लोग ज्यादा ज्ञानी हैं| उन्हें चलता फिरता विश्वकोष (encyclopedia) माना जा सकता है, पर दुःख की बात है की इसके बावजूद वे नाकामयाबी की जीती जागती मिसाल हैं|
६- अगर किसी इन्सान में आगे दी हुयी पांच खूबियाँ हों , तो वह स्कूली शिक्षा हासिल किये बिना कामयाब हो सकता है-
चरित्र ( character )
प्रतिबद्धता ( commitment )
दृढ विश्वास ( conviction )
तहजीब ( courtesy )
सहस ( courage )
विंस्टन चर्चिल ने सही ही कहा था"यूनिवर्सिटी की पहली जिम्मेदारी ज्ञान देना और चरित्र निर्माण होता है, न कि व्यापारिक और तकनिकी शिक्षा देना|"
पता नहीं भारतीय शिक्षा मंत्रालय और सरकार कब इस बात को समझेगी|
जय श्री राम|
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शुक्रवार, 9 मार्च 2012
अंतर्राष्ट्रीय महिलादिवस हा हा हा हा हा हा हा हा
अंतर्राष्ट्रीय महिलादिवस
हा हा हा हा हा हा हा हा
अंग्रेजों ने आकर्षण हेतु नये-नये त्योहार बनाने आरम्भ कर दिये
प्यार का इजहार दिवस
चुम्मा दिवस
वेलेंटाइन दिवस
पोलियो दिवस
एड्स दिवस
इत्यादि
अब एक उनके यहाँ और प्रचलित दिवस है ' आत्महत्या ' दिवस वो और इम्पोर्ट हो जाये तो कुछ भारत से गन्दगी साफ हो जाये
हम भारतीयों को मातृ दिवस का पर्व मनाने लिये प्रेरित करने की कोशिश करनी चाहिए और इसमें संस्कार डालना चाहिये व्रत - हवन पूजनआदि का अरे हाँ याद आया
अपने यहाँ तो साल के 18 दिन महिला दिवस मनाया जाता है चैत्र व आश्विन की नवरात्रि
अगर इतने दिन अपनी माँ तो पवित्र स्थान पर बैठा कर पूज लो तो ये कलयुग मेँ सबसे बड़ा पुण्य होगा
गुरुवार, 8 मार्च 2012
होली के पावन त्यौहार की हार्दिक सुभकामनाये ..!!!!!
जय श्री कृष्णा सा
सभी आदरणीय पूज्यनीय माननीय सज्जनों और सभी युवक और युवतियों को होली के पावन त्यौहार की हार्दिक सुभकामनाये ..!!!!!
आप सब सावधानी से होली का त्यौहार मनाये और सीर्फ गुलाल का उपयोग करे...ये मेरी अप सब से विनती है..!!
बच्चो का ख्याल रखे की चेमिकल वाले कलर से न खेले......उनकी आँखों में जा सकता हे..सो....!!!
जय श्री कृष्णा
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