मक्का के फायदे
भुट्टा या मक्का सेहत का खजाना है। भुट्टे को पोषण के
हिसाब से बेहतरीन माना जाता है। इसकी खासियत यह है
कि पकाने के बाद इसकी पौष्टिकता बढ जाती है। पके
हुए भुट्टे में पाया जाने वाला कैरोटीनायड विटामिन-ए
का अच्छा स्रोत होता है। भुट्टे को पकाने के बाद उसके 50
प्रतिशत एंटी-ऑक्सीअडेंट्स बढ़ जाते हैं। पके हुए भुट्टे में फेरूलिक एसिड होता है जो कि कैंसर जैसी बीमारी में
लड़ने में बहुत मददगार होता है। मक्के में कैरोटीन होता है
जिसके कारण इसका रंग पीला होता है। इसके अलावा भुट्टे
में मिनरल्स और विटामिन प्रचुर मात्रा में पाये जाते हैं।
कार्न को एक बेहतरीन कोलेस्ट्रॉल फाइटर माना जाता है,
जो दिल के मरीजों के लिए बहुत अच्छा है। आइए हम आपको भुट्टे के फायदे के बारे में जानकारी देते हैं।
भुट्टे के लाभ – खांसी के मरीजों के लिए भुट्टा बहुत फायदेमंद होता है।
भुट्टा जलाकर उसकी राख पीस लीजिए। इसमें
स्वादानुसार सेंधा नमक मिला लीजिए। हर रोज कम से
कम चार बार एक चौथाई चम्मच हल्का गरम पानी के साथ
फांक लीजिए। खांसी समाप्त हो जाती है। बच्चों के विकास के लिए भुट्टा बहुत फायदेमंद
माना जाता है। ताजे दूधिया (जो कि पूरी तरह से पका न
हो) मक्का के दाने पीसकर एक खाली शीशी में भरकर उसे
धूप में रखिए। जब उसका दूध सूख कर उड़ जाए और
शीशी में केवल तेल रह जाए तो उसे छान लीजिए। इस तेल
को बच्चों के पैरों में मालिश कीजिए। इससे बच्चों का पैर ज्यादा मजबूत होगा और बच्चा जल्दी चलने
लगेगा।
इस तेल को पीने से शरीर शक्तिशाली होता है। हर रोज
एक चम्मच तेल को चीनी के बने शर्बत में मिलाकर पीने
से बल बढ़ता है। ताजा मक्का के भुट्टे को पानी में उबालकर उस
पानी को छानकर मिश्री मिलाकर पीने से पेशाब
की जलन व गुर्दों की कमजोरी समाप्त हो जाती है।
पथरी निकालने के लिए भी मक्का फायदेमंद है। भुट्टे
और जौ को जलाकर राख कर लीजिए। दोनों को अलग-
अलग पीस कर अलग-अलग शीशियों में भर लीजिए। एक कप पानी में एक-एक चम्मच मक्का और जौ की राख घोलें
फिर छानकर इस पानी को पी लीजिए। इससे पथरी गल
जाएगी और पेशाब में जलन नहीं होगी।
टीबी के मरीजों के लिए मक्का बहुत फायदेमंद है।
टीबी के मरीजों को हर रोज मक्के
की रोटी खाना चाहिए। इससे टीबी के इलाज में फायदा होगा।
भुट्टा या मक्का सेहत का खजाना है। भुट्टे को पोषण के
हिसाब से बेहतरीन माना जाता है। इसकी खासियत यह है
कि पकाने के बाद इसकी पौष्टिकता बढ जाती है। पके
हुए भुट्टे में पाया जाने वाला कैरोटीनायड विटामिन-ए
का अच्छा स्रोत होता है। भुट्टे को पकाने के बाद उसके 50
प्रतिशत एंटी-ऑक्सीअडेंट्स बढ़ जाते हैं। पके हुए भुट्टे में फेरूलिक एसिड होता है जो कि कैंसर जैसी बीमारी में
लड़ने में बहुत मददगार होता है। मक्के में कैरोटीन होता है
जिसके कारण इसका रंग पीला होता है। इसके अलावा भुट्टे
में मिनरल्स और विटामिन प्रचुर मात्रा में पाये जाते हैं।
कार्न को एक बेहतरीन कोलेस्ट्रॉल फाइटर माना जाता है,
जो दिल के मरीजों के लिए बहुत अच्छा है। आइए हम आपको भुट्टे के फायदे के बारे में जानकारी देते हैं।
भुट्टे के लाभ – खांसी के मरीजों के लिए भुट्टा बहुत फायदेमंद होता है।
भुट्टा जलाकर उसकी राख पीस लीजिए। इसमें
स्वादानुसार सेंधा नमक मिला लीजिए। हर रोज कम से
कम चार बार एक चौथाई चम्मच हल्का गरम पानी के साथ
फांक लीजिए। खांसी समाप्त हो जाती है। बच्चों के विकास के लिए भुट्टा बहुत फायदेमंद
माना जाता है। ताजे दूधिया (जो कि पूरी तरह से पका न
हो) मक्का के दाने पीसकर एक खाली शीशी में भरकर उसे
धूप में रखिए। जब उसका दूध सूख कर उड़ जाए और
शीशी में केवल तेल रह जाए तो उसे छान लीजिए। इस तेल
को बच्चों के पैरों में मालिश कीजिए। इससे बच्चों का पैर ज्यादा मजबूत होगा और बच्चा जल्दी चलने
लगेगा।
इस तेल को पीने से शरीर शक्तिशाली होता है। हर रोज
एक चम्मच तेल को चीनी के बने शर्बत में मिलाकर पीने
से बल बढ़ता है। ताजा मक्का के भुट्टे को पानी में उबालकर उस
पानी को छानकर मिश्री मिलाकर पीने से पेशाब
की जलन व गुर्दों की कमजोरी समाप्त हो जाती है।
पथरी निकालने के लिए भी मक्का फायदेमंद है। भुट्टे
और जौ को जलाकर राख कर लीजिए। दोनों को अलग-
अलग पीस कर अलग-अलग शीशियों में भर लीजिए। एक कप पानी में एक-एक चम्मच मक्का और जौ की राख घोलें
फिर छानकर इस पानी को पी लीजिए। इससे पथरी गल
जाएगी और पेशाब में जलन नहीं होगी।
टीबी के मरीजों के लिए मक्का बहुत फायदेमंद है।
टीबी के मरीजों को हर रोज मक्के
की रोटी खाना चाहिए। इससे टीबी के इलाज में फायदा होगा।
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