दुनिया में साइबर अपराध के मामलों में भारत का स्थान तीसरा है। पिछले पांच महीने में पिछले साल के मुकाबले 10 प्रतिशत साइबर अपराधों में बढ़ोतरी हुई है। सिक्योरिटी फर्म बाराकुडा नेटवर्क के अनुसार एक मार्च से 23 मार्च के बीच 4,67,825 पिशिंग ई-मेल भेजे गए जिनमें 9,116 कोरोना से संबंधित हैं। कोरोना वायरस से संबंधित ई-मेल भेजकर लोगों की निजी जानकारी चोरी की जा रही है और उनके सिस्टम में मैलवेयर इंस्टॉल करवाया जा रहा है।
स्कैम ई-मेल के जरिए लोगों को फ्री मास्क, फ्री सैनिटाइजर देने के दावे वाले ई-मेल भेजे जाते हैं। वास्तव में ये कंपनियां फर्जी होती हैं। इसके अलावा लोगों से फर्जी डोनेशन भी मांगे जाते हैं। वहीं चैरिटी वाले ई-मेल भी आते हैं। सायबर क्राइम में सबसे बड़ी कठिनाई है कि इसमें पीड़ित, शरारतकर्ता, लाभार्थी और इण्टरमीडियरीज अलग-अलग स्थानों पर होते हैं। किसी विवेचक को उन तक पहुंचना बहुत कठिन होता है। इसके लिए एक कॉमन सिस्टम बनाने की जरूरत है|
साइबर क्राइम से बचने का तरीका क्या है?
-अपने जीमेल और सोशल मीडिया अकाउंट्स में टू फैक्टर ऑथेंटिकेशन ऑन रखें|
-किसी भी ऐसे ई-मेल में दिए गए अटैचमेंट पर क्लिक ना करें जो अंजान ई-मेल आईडी से आया हो|
-किसी भी ई-मेल के साथ आए लिंक को ओपन ना करें और मीडिया फाइल को भी डाउनलोड ना करें।
-ऐसे ई-मेल को ब्लॉक करें, फ्लैग करें या फिर स्पैम मार्क कर दें।
-मज़बूत वाई-फाई नेटवर्क जैसे WPA2, WPA3 इस्तेमाल करें|
-जब जरूरत न हो तो ब्लूटूथ और वाईफाई बंद कर दें|
-एप्लिकेशन और सॉफ्टवेयर का अपडेटेड वर्ज़न का इस्तेमाल करें|
-एंटी वायरस का इस्तेमाल करें|
-किसी भी चीज़ पर क्लिक, फॉर्वरड और डाउनलोड करने से पहले पूरा ध्यान दें|
-किसी एप या प्लेटफॉर्म के टर्म्स ऑफ़ यूज़ को ध्यान से पढ़ें|
-बिज़नेस ओनर वर्क फ्रॉम होम पॉलिसी तैयार करें|
-डाटा का बैकअप लगातार बनाते रहें|
-वीपीएन का इस्तेमाल करें|
-डेटा लॉस प्रिवेंशन का इस्तेमाल करें|
-दूर से किसी समस्या की स्थिति को हल करने की तैयारी रखें|
-सिक्योरिटी का समय-समय पर ऑडिट करते रहें|
-डिजिटल सिग्नेचर के जरिए ऑनलाइन कॉन्ट्रैक्ट के डेटा को सेफ़ रखा जा सकता है. कानून से इसे मान्यता प्राप्त है. इसका इस्तेमाल करें|
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